देवभूमि उत्तराखंड के ये किले भी पहाड़ों से कम नहीं, छिपा है राजपूत राजाओं का इतिहास
अगर आप इतिहास में रुचि रखते हैं और प्राचीन किले और दुर्ग घूमना और उनके बारे में जानना पसंद करते हैं, तो राजस्थान की तरह उत्तराखंड में भी कई किले हैं. राजस्थान के किलों की तरह इनका इतिहास भी काफी समृद्ध है.
अल्मोड़ा किला
अल्मोड़ा शहर में बना अल्मोड़ा का किला 1969 में कत्यूरी राजपूत राजा रुद्र सिंह द्वारा बनवाया गया था. बाद में इस किले को गोरखाओं ने जीत लिया था.
भव्य वास्तुकला
अल्मोड़ा किला अपने भव्य वास्तुकला और हिमालय के मनोरम दृश्यों के लिए जाना जाता है. यह किला वर्तमान में भारतीय सेना के अधीन है और पर्यटकों के लिए खुला है.
पिथौरागढ़ किला
पिथौरागढ़ किला गोरखाओं द्वारा बनवाया गया था. यह किला कुमाऊं क्षेत्र में उनके शासन का प्रतीक हुआ करता था.
पिथौरागढ़ किले की वर्तमान स्थिति
उत्तराखंड के और दूसरे किलों की तरह पिथौरागढ़ का किला भी भारतीय सेना के आधीन है. अगर आप इसे देखना चाहते हैं तो यह पर्यटकों के लिए खुला है.
चंपावत किला
यह किला 10वीं शताब्दी में बना था और इसे कत्यूरी राजपूत राजाओं ने बनवाया था. कभी कुमाऊं क्षेत्र का राजनीतिक केंद्र रहने वाला यह किला वर्तमान समय में खंडर हो चुका है लेकिन पर्यटकों में लोकप्रिय आकर्षण है.
कत्यूरी राजवंश
कत्यूरी राजा वर्तमान उत्तराखंड राज्य में मध्यकालीन शासक कबीले थे. उन्होंने 700 से 1200 शताब्दी के मध्य शासन किया. कत्यूरी राजवंश की स्थापना वासुदेव कत्यूरी ने की थी. जिन्हे वासुदेव या बसुदेव के रूप में भी जाना जाता है.
रानीखेत किला
रानीखेत किला का निर्माण 18वीं शताब्दी में गोरखाओं द्वारा कराया गया था. यह किला कुमाऊं क्षेत्र में उनकी सैन्य शक्ति का प्रतीक हुआ करता था
रानीखेत किले की वर्तमान स्थिति
कभी गोरखाओं की शक्ति का प्रतीक रहने वाला यह किला वर्तमान में भारतीय सेना के आधीन है. अगर आप यहां घूमना चाहते हैं तो यह पर्यटकों के खुला हुआ है.
गंगोत्री किला
गढ़वाली राजपूत राजाओं ने 18वीं शताब्दी में गंगोत्री ग्लेशियर की रक्षा के लिए इसका निर्माण कराया था. हालांकि वर्तमान में यह किल खंडहर है, लेकिन यह अभी भी तीर्थयात्रियों और पर्यटकों के लिए एक लोकप्रिय आकर्षण है.
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