अमेठी: छत्तीसगढ़ के सुकमा में हुए नक्सली हमले में  शहीद जवान अनिल मौर्य का शव उनके पैतृक गांव अमेठी के नरैनी गांव पहुंचा. पार्थिव शरीर का अंतिम दर्शन करने के लिए हजारों लोगों की भीड़ है. मौके पर जिला पुलिस और प्रशासन के तमाम अधिकारी मौजूद हैं. उनके शव के पहुंचने के बाद परिजनों का रो-रो कर बुला हाल है. गांव समेत आसपास के भी गावों में सभी की आंखें नम है. सुकमा में शुक्रवार (21 अप्रैल) देर रात सुरक्षा बल और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई थी. इसी मुठभेड़ में CRPF जवान अनिल मौर्य शहीद हो गए थे. प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए मुआवजे का ऐलान किया था. सीएम योगी ने उनके परिजनों को 25 लाख रुपए की मदद का घोषणा की थी.


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शहीद के परिवार को आर्थिक मदद
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर अमेठी के प्रभारी मंत्री मोहसिन रजा ने सुकमा में शहीद अनिल मौर्य की पत्नी प्रभावती देवी के खाते में 20 लाख और, पिता रामप्यारे, माता रामलली के खाते में 5 लाख की आर्थिक सहायता RTGS के माध्यम से ट्रांसफर की है.


 



 


CRPF यूनिट नंबर 7 में तैनात थे अनिल मौर्य
जानकारी के मुताबिक, मुखबिर की सूचना के बाद शुक्रवार (20 अप्रैल) की देर रात सीआरपीएफ की 212वीं बटालियन की एक टुकड़ी छत्तीसगढ़ पुलिस की 208 कोबरा पुलिस के साथ पलोड़ कैंप से सर्चिंग पर निकली थी. जंगल में नक्सलियों से आमना-सामना होने पर दोनों ओर से फायरिंग शुरू हो गई. इस दौरान सीआरपीएफ जवान अनिल कुमार मौर्य घायल हो गए थे. घायल जवान को इलाज के लिए किस्तर कैंप ले जाया गया जहां उसकी मौत हो गई. अनिल कुमार मौर्य छत्तीसगढ़ प्रांत के सुकमा में सीआरपीएफ यूनिट नंबर 07 में उपनिरीक्षक के पद पर तैनात थे.