Gangster Khan Mubarak: उत्तर प्रदेश में बाहुबली और माफिया कई सारे हुए, जिसमें मुख़्तार अंसारी से लेकर अतीक अहमद ने प्रदेश में अपने कारनामों से आतंक मचाया. इस सबके बीच खान मुबारक(Khan Mubarak) भी एक ऐसा गैंगस्टर रहा, जिसने इलाहाबाद और उसके आसपास के इलाकों में खूब दहशत फैलाई. खान मुबारक यहीं पर नहीं रूका उसने अंडरवर्ल्ड डॉन छोटा राजन से हाथ मिलाकर अपना जरायम और बढ़ा लिया. खान मुबारक के आपराधिक कारनामों के पीछे उसके बड़े भाई का भी अहम किरदार रहा है. खान मुबारक का बड़ा भाई जफ़र सुपारी अंडरवर्ल्ड का जाना माना बदमाश रहा है. 


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अंपायर को मारी थी गोली 
खान मुबारक ने इलाहाबाद विश्वविद्यालय से अंग्रेजी में एमए की थी. एमए के साथ-साथ खान मुबारक ने अपराध की दुनिया में कदम रखा. इलाहाबाद विश्वविद्यालय से अंग्रेज़ी साहित्य में एमए की पढ़ाई कर रहे मुबारक ने एक क्रिकेट मैच में हिस्सा लिया था. क्रीज पर गैंगस्टर खान मुबारक बैटिंग कर रहा था. एक शॉट मारकर जैसे ही खान मुबारक रन लेने के लिए दौड़ा वैसे ही दूसरी टीम ने विकेट उड़ा कर खान मुबारक को आउट कर दिया. इसके बाद अंपायर ने मुबारक को रन आउट दे दिया. गैंगस्टर खान मुबारक ने अपील की लेकिन उसकी अपील नही सुनी गई. इस बात से मुबारक गुस्से से लाल हो गया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार खान मुबारक ने खुद को रनआउट देने पर अंपायर को गोली मारकर मौत के घाट उतार दिया.


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खतरनाक अपराधी था खान मुबारक 
यूपी के टॉप टेन अपराधियों में शामिल खान मुबारक बेहद ही शातिर अपराधी रहा है. वो अंडरवर्ल्ड के कुख्यात शार्प शूटर जफर सुपारी का भाई था. खान मुबारक इस वक्त उत्तर प्रदेश की हरदोई जेल में बंद था. आपको बता दें कि 3 साल पहले उत्तर प्रदेश की STF टीम ने खान मुबारक को अंबेडकर नगर से अवैध असलहों के साथ गिरफ्तार किया था. पुलिस और एजेंसियों से मिली जानकारी के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में जफर सुपारी का सारा काम खान मुबारक ही देखता था. इसके अलावा मुंबई में साल 2006 में काला घोड़ा हत्याकांड के बाद खान मुबारक का नाम सुर्ख़ियो में सामने आया था. तब खान मुबारक छोटा राजन का शार्प शूटर हुआ करता था. छोटा राजन गिरोह ने दिनदहाड़े इस पूरे हत्याकांड को अंजाम दिया था. जिसमें खान मुबारक ने कई साथियों के साथ मिलकर एक पुलिस वैन में बंद दो आरोपियों को गोलियों से भून दिया था.


कैश वैन लूटकांड का आरोपी 
साल 2007 में एक कैश वैन लूटकांड में एसटीएफ ने खान मुबारक को गिरफ्तार किया था. इसी मामले में पूछताछ के बाद गैंगस्टर खान मुबारक ने काला घोड़ा हत्याकांड का खुलासा किया था. साल 2007 में कैश वैन लूटकांड में खान मुबारक पांच साल नैनी जेल में बंद रहा. साल 2012 में बाहर आया तो फिर से अंबेडकर नगर में रंगदारी और जबरन वसूली का काम शुरू किया, वहीं शूटर ओसामा की हत्या में नाम सामने आया.


अपराध का आका बना खान मुबारक 
साल 2017 में बसपा नेता जुरगाम मेहंदी पर जानलेवा हमला कराया, इसमें मेहंदी को आधा दर्जन गोली लगी पर किस्मत से वह बच गए. इसके बाद उसे लखनऊ से यूपी एसटीएफ ने खान मुबारक को अरेस्ट कर लिया गया। फिर एक साल बाद 2018 में जुरगाम मेहंदी पर फिर हमला हो गया और मेहंदी की मौत हो गई. मिली जानकारी के मुताबिक कथित तौर पर खान मुबारक को इस हत्या का जिम्मेदार माना गया. 


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