नई दिल्ली : आज की तारीख में मोबाइल के बिना जीवन की सोच नामुमकिन है. बिना मोबाइल फोन के दुनिया को इमैजिन ही नहीं किया जा सकता. सुबह आंख खुलने से लेकर रात में सोने तक हम पूरा दिन मोबाइल के वश में रहते हैं. या तो मोबाइल हमारे हाथ में रहता है या फिर चार्जिंग पॉइंट पर. इसी बीच हम आपको मोबाइल और उसके चार्जर को लेकर एक ऐसी जानकारी देने जा रहे हैं, जो बेहद कम लोगों को पता होगी. आपने देखा होगा कि हमारे चार्जर के अडॉप्टर या ब्रिक पर कुछ सिंबल बने होते हैं, जो केवल सजावट के लिए नहीं बनाए जाते. हर एक सिंबल का अपना मतलब होता है. आज इस खबर के माध्यम से हम जानेंगे इन सभी सिंबल्स का अर्थ...


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दरअसल, ये 'घर, स्कवायर और करंट' सिंबल बताते हैं कि आपका चार्जर कैसा है, इसमें क्या खासियत और क्या कमियां हैं. साथ ही, ये निशान चार्जर के टेक्निकल फीचर के बारे में बताते हैं.


क्या होता है होम सिंबल का मतलब?
होम या 'घर' जैसा निशान चार्जर के पीछे बना होता है. यह बताता है कि यह चार्जर डोमेस्टिक और इंडोर यूज के लिए बना है. मतलब चार्जर घर पर इस्तेमाल किया जा सकता है.


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करंट या 'लाइटेनिंग' का सिंबल क्या दर्शाता है?  
इसी तरह एक 'करंट' या फिर 'लाइटेनिंग' का भी सिंबल बना होता है, जो यह बताता है कि इस डिवाइस को इस्तेमाल करने के लिए 220V पावर सप्लाई की आवश्यकता है. साथ ही इसे पानी और धूप में इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए.


डबल स्क्वायर के सिंबल का क्या मतलब होता है?
डबल स्क्वायर का सिंबल यह बताता है कि यह डबल इंसुलैट है. यानी बिजली या करंट को लेकर डबल सुरक्षित है. इसे 'क्लास सेकेंड सिंबल' भी कहा जाता है. इस सिंबल से पता चलता है कि चार्जर को अर्थिंग की जरूरत नहीं है. साथ ही, कोई दूसरा सेफ्टी कनेक्शन भी नहीं चाहिए. डबल स्क्वायर का मतलब यह भी है कि DC Output Wire आइसोलेटेड होता है AC Input Wire के साथ, जिससे इलेक्ट्रिक शॉक का जोखिम भी काफी कम हो जाता है.


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