पारस गोयल/मेरठ: मेरठ में आजकल शहर विधायक रफीक अंसारी और मेयर सुनीता वर्मा का पोस्टर ख़ासा चर्चा का विषय बना हुआ है. इस पोस्टर में लिखा हुआ है 'ग़ुमशुदा की तलाश. मेरठ के नगर निवासी बदहाल ज़िन्दगी जीने को मजबूर हैं.दोनों माननीय बताएं कि बच्चे स्कूल कैसे जाएं?  नमाज़ पढ़ने मस्जिद कैसे जाएं? व्यापार ठप हो गया दुकानदार कहां जाएं? पोस्टर पर बड़े-बड़े अक्षरों में लिखा हुआ है, ''वोट लेकर जनता को अपने हाल पर छोड़कर दोनों लापता हो गए हैं.'' सपा विधायक रफीक अंसारी और मेयर सुनीता वर्मा की तस्वीर भी पोस्टर में लगाई हुई हैं. पोस्टर में निवेदक के तौर पर एआईएमआईएम लिखा हुआ है. ये पोस्टर ख़ासतौर से शहर विधानसभा क्षेत्र में जलजमाव वाली गलियों में लगे हुए हैं.


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एआईएमआईएम के महानगर अध्यक्ष का कहना है कि इन दोनों जन प्रतिनिधियों को चुन कर निगम और विधानसभा भेजा था.दोनों ने आज तक इस इलाके की कोई सुध नहीं ली. चुनाव के वक्त फलां पार्टी जीत जाएगी. हमें वोट दो का नारा लगाते जरूर दिख जाते हैं. नेताओं ने कहा कि AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी के सिपाही मेरठ में मौजूद हैं और हम सवाल कर रहे हैं, बताइए आप दोनों (विधायक और मेयर) यहां का हाल देखने क्यों नहीं आए. क्या यहां इंसान नहीं बसते? क्या इन लोगों ने आप को वोट नहीं दिया? फिर ये बेरुखी क्यों? इलाका 4 महीने से जलभराव से परेशान है और आप दोनों में से किसी ने इस इलाके के लोगो के बीच पहुंच कर उनका दर्द सुनना भी गंवारा नहीं समझा.


गौरतलब है कि इस इलाके के लोग काफी समय से जलभराव की समस्या से जूझ रहे हैं. इसी का गुस्सा इस पोस्टर के माध्यम से ज़ाहिर किया गया है. पिछले 4 महीनो से बुनकर नगर,विकास पुरी, किदवई नगर व कई अन्य इलाकों में जलभराव की भीषण समस्या है. लेकिन शहर विधायक और मेयर जनता के बार बार गुहार लगाने के बावजूद कोई सुध लेने के लिए यहां नहीं पहुंचे. इस इलाके में लाखों को आबादी रहती है. हालात ये है कि लोग घरों से नही निकल पा रहे है. बच्चे स्कूल नहीं जा पा रहे है. मस्जिदों में नमाज पढ़ने जाना दुशवार हो गया है. कारोबार का हाल ये है लोगों ने दुकानें खाली करना शुरू कर दिया है.