वाराणसी: बनारस का काशी विश्वनाथ मंदिर अपनी अलौकिकता के लिए प्रसिद्ध है. देश-विदेश के लाखों श्रद्धालु बाबा विश्वनाथ के दर्शन करने आते है. बुधवार को श्री काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास परिषद की परिषद की बैठक हुई. इसमें भक्तों को लड्डू का प्रसाद उपलब्ध कराए जाने पर चर्चा हुई. इसके साथ ही टेढ़ीनीम स्थित भोगशाला को अतिथि गृह के रूप में विकसित करने का फैसला लिया गया.


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तिरुपति बालाजी की तर्ज पर लिया गया फैसला
आपको बता दें कि तिरुपति बालाजी की तर्ज पर श्रद्धालुओं को लड्डू का प्रसाद उपलब्ध कराने का फैसला लिया है. द्वादश ज्योतिर्लिंगों में एक श्री काशी विश्वनाथ मंदिर अपनी भव्यता के लिए प्रख्यात है. बताया जा रहा है मंदिर ट्रस्ट द्वारा प्रसाद का जीआई रजिस्ट्रेशन भी कराया जाएगा. साथ ही प्रसाद की गुणवत्ता का पूरा ध्यान रखा जाएगा, ताकि लंबे समय तक प्रसाद खराब न हो. ऐसा इसलिए भी जरूरी है क्योंकि बहूत दूर-दूर से लोग दर्शन करने आते हैं और प्रसाद लेकर जाते हैं. प्रसाद की गुणवत्ता के लिए जल्द ही मानक तय किए जाएंगें और उसी के अनुसार उसका निर्माण किया जाएगा. इस बाबत शासन से भी सहमति ली जाएगी. उम्मीद की जा रही है होली से पहले इस विषय पर चर्चा पूरी कर ली जाएगी और मंदिर परिषद जल्द ही इस पर अंतिम फैसला लेगा.


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भक्त ऑनलाइन कर सकेंगे प्रसाद के लिए ऑर्डर
उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव डॉ. दुर्गा शंकर मिश्रा ने पिछले महीने काशी विश्वनाथ मंदिर की व्यवस्था की समीक्षा की थी. इस दौरान उन्होंने यह सुझाव दिया था. इसके बाद से ही इस विषय पर विचार किया जा रहा है. इसमें मंदिर आने वाले भक्त काउंटर से प्रसाद लेकर बाबा विश्वनाथ को भोग लगा पाएंगे. इसके साथ ही प्रसाद के लिए ऑनलाइन ऑर्डर भी कर पाएंगे. वहीं, टेढ़ीनीम स्थित भोगशाला की खाली पड़ी जगह के विचार में विचार विमर्श हुआ. यहां एक अतिथि गृह बनाने पर सहमति बनी है.


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