उन्नाव: उत्तर प्रदेश उन्नाव पुलिस का एक अजीबों गरीब कारनामा सामने आया है. उन्नाव पुलिस के दारोगा ने दो साल पहले रोड एक्सिडेंट में जान गवां चुके  वसीम नाम के एक युवक पर ही मारपीट का केस दर्ज कर लिया. यही नहीं दारोगा ने उन्नाव जिला कोर्ट में चार्जशीट भी दाखिल कर दी, जिसके बाद मृतक के पिता ने न्यायालय में दरोगा के '' खेल '' पर कार्रवाई की गुहार लगाई. उन्नाव जिला न्यायालय के आदेश पर दारोगा सुरेशचन्द्र पर 420 व 419 की धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है. 


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क्या है पूरा मामला? 
नगर पंचायत औरास के मोहल्ला मुरौव्वन टोला निवासी अनवर पुत्र बदुल्ला ने कोर्ट में दायर किये वाद में बताया कि जनवरी 2020 में औरास सीएचसी के पास सार्वजनिक शौचालय और रैन बसेरा निर्माण के दौरान हेमनाथ, नौशाद, ऊदन से झगड़ा हुआ था. इसमें हेमनाथ ने दरोगा सुरेश चंद्र से सांठगांठ कर उसके और बेटों मंजीत, साजिद और वसीम के विरुद्ध रिपोर्ट दर्ज कर कोर्ट में चार्जशीट भी दाखिल करवा दी थी. साथ ही दरोगा से अनुरोध भी किया कि उसके बेटे वसीम की 5 मई 2018 में सड़क हादसे में मौत हो गई है. औरास पुलिस ने वसीम का पोस्टमार्टम भी कराया था, लेकिन दारोगा ने उसकी बात नहीं मानी और चारों के विरुद्ध 20 मार्च 2020 को मुकदमा दर्ज कर लिया और सबके विरुद्ध कार्रवाई की बात भी कही. 


मृतक के भाई का लगा दिया अंगूठा 
अनवर ने आरोप लगाया कि दरोगा ने उन सभी के आधार कार्ड मांगे जो मैंने दे दिए. इसके बाद दरोगा ने वसीम की जगह मंजीत का अंगूठा लगवा लिया. वहीं, मारपीट के मामले में 16 अप्रैल 2020 को चार्जशीट भी दाखिल कर दी.इसके बाद अनवर ने 16 दिसंबर 2021 को कोर्ट में तहरीर दी, जो एसपी कार्यालय को डाक से भेजी गई. हालांकि उस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई. फिर उसने 13 जनवरी 2022 को कोर्ट में शिकायती पत्र देकर विपक्षियों पर कार्रवाई की मांग की. 


एडिशनल एसपी शशि शेखर सिंह ने बताया कि मामले में मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है. जांच के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी. बताया जा रहा है कि विवेचक दरोगा सुरेश चंद्र ने औरास थाने में 9 फरवरी 2020 को कार्यभार संभाला था और  वह 30 जुलाई 2020 को रिटायर हो चुके हैं.


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