लखनऊ : उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने वैवाहिक मामलों में बढ़ते तनाव और परिवार को टूटने से बचाने के लिए लोक अदालत को अहम जरिया बनाया है. लोक अदालतें भी इस दिशा में सुलह का बेहतरीन केंद्र बनकर सामने आई हैं.


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यूपी स्टेट लीगल सर्विसेस अथॉरिटी की रिपोर्ट के मुताबिक राज्य में साल 2022-23 व 2023-24 के मध्य अब तक कुल 6 चरणों में लोक अदालतें लगाई गईं. इनमें कुल मिलाकर रिकॉर्ड 3.30 करोड़ मामलों का समाधान हुआ. दांपत्य व पारिवारिक विवाद के मामलों को सुलझाने में इन लोक अदालतों को बड़ी सफलता मिली है. 


2022-23 व वर्ष 2023-24 के मध्य अब तक 6 चरणों में प्रदेश भर में लोक अदालतें लगाई गईं.वहीं दांपत्य व पारिवारिक विवादों से जुड़े मामलों के अलग से निस्तारण के लिए स्पेशल लोक अदालतें भी लगाई जाती हैं. इस क्रम में प्रदेश भर की सिविल कोर्ट में लोक अदालत संबंधी हेल्प डेस्क की स्थापना की गई है.


लोक अदालत की तारीख     मामलों का समाधान


12 मार्च 2022                        635 


14 मई 2022                         849


13 अगस्त 2022                    936


12 नवंबर 2022                     1244


11 फरवरी 2023                   1154


21 मई 2023                          814


2022 से मई 2023 तक कुल मिलाकर 5632 दांपत्य जीवन से जुड़े मामलों के निस्तारण किया गया. 


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बैंक रिकवरी केस के निस्तारण में भी आगे
प्रदेश में बैंक रिकवरी के बढ़ते मामलों को देखते हुए एक विशेष लोक अदालती सत्र का आयोजन इस वर्ष 17 व 18 मार्च को किया गया था. इसमें भी व्यापक सफलता प्राप्त करते हुए कुल 27782 मामलों के निस्तारण व त्वरित समाधान मुहैया कराए जाने की प्रक्रिया को पूर्ण कर लिया गया.


रिपोर्ट में इस बात का भी उल्लेख है कि प्रदेश में आयोजित होने वाली सभी लोक अदालतों के बारे में लोगों को जागरुक करने, उनके आयोजन तिथि की जानकारी उपलब्ध कराने और प्रासंगिकता के बारे में लोगों को अवगत कराने के लिए भी राज्य सरकार व न्यायिक विभाग द्वारा व्यापक प्रयास किए जा रहे हैं.