देहरादून : उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्रों में स्थापित राजकीय मेडिकल कॉलेज में तैनात शिक्षकों को अब वेतन के अलावा 50 प्रतिशत अतिरिक्त भत्ता भी दिया जाएगा. प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत ने बताया कि इसका शासनादेश जारी कर दिया गया है. राज्य सरकार का यह निर्णय नियमित और संविदा पर तैनात दोनों प्रकार के शिक्षकों पर लागू होगा. 


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दूर होगा शिक्षकों का टोटा 
इससे पर्वतीय क्षेत्रों के मेडिकल कॉलेजों को जहां पर्याप्त शिक्षक मिल पाएंगे. वहीं विशेषज्ञ चिकित्सक भी अपनी सेवाएं देने के लिए आसानी से उपलब्ध हो सकेंगे. रावत ने बताया कि काफी प्रयासों के बावजूद पर्वतीय क्षेत्रों में स्थित मेडिकल कॉलेज में प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर और सहायक प्रोफेसर उपलब्ध नहीं हो पा रहे थे. इसका एक प्रमुख कारण कम वेतनमान एवं पर्याप्त सुविधाएं न मिल पाना सामने आया था.


नियमित और संविदा दोनों श्रेणी के शिक्षकों को मिलेगा लाभ 
मंत्री ने कहा कि इसी के मद्देनजर राज्य सरकार ने पर्वतीय क्षेत्रों में तैनात नियमित एवं संविदा दोनों ही श्रेणी के शिक्षकों को ‘मेडिकल टीचर्स डेफिसेन्सी कम्पनसेटरी’ योजना के अंतर्गत 50 प्रतिशत अतिरिक्त भत्ता देने का निर्णय लिया है. 


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वेतन पर्ची में अंकित होगा अतिरिक्‍त भत्‍ता 
मंत्री ने बताया कि वर्तमान में यह अतिरिक्त भत्ता राजकीय मेडिकल कॉलेज, श्रीनगर तथा राजकीय मेडिकल कॉलेज, अल्मोड़ा में लागू होगा तथा भविष्य में पर्वतीय क्षेत्रों में स्थापित किए जाने वाले सभी राजकीय मेडिकल कॉलेज में तैनात संकाय सदस्यों, प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर तथा सहायक प्रोफेसर को भी उक्त भत्ता देय होगा. उन्होंने बताया कि संकाय सदस्यों को मिलने वाला 50 प्रतिशत अतिरिक्त भत्ता उनकी वेतन पर्ची पर अंकित नहीं होगा. 


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