Sawan 2024: सावन में काशी विश्वनाथ को छू नहीं पाएंगे भोलेबाबा के भक्त, मंदिर प्रशासन ने लिया बड़ा फैसला
Sawan 2024 Start Date: सावन में भोले बाबा के भक्तों से जुड़ी एक जरूरी खबर है. दरअसल, बाबा विश्वनाथ को सावन में उनके भक्त स्पर्श नहीं कर पाएंगे. सावन में काशी विश्वनाथ को छू नहीं पाएंगे भोलेबाबा के भक्त, मंदिर प्रशासन ने लिया बड़ा फैसला
Sawan 2024, वाराणसी: सावन में श्री काशी विश्वनाथ धाम जाने वाले भक्तों के लिए एक जरूरी खबर है. दरअसल, श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए कई अहम निर्णय लिए गए हैं. मंदिर प्रशासन इस बार की व्यवस्थाओं में काफी बदलाव लाने की तैयारी कर रहा है. ऑनलाइन दर्शन-पूजन व रुद्राभिषेक के साथ ही भक्तों के लिए सावन भर झांकी दर्शन के इंतजाम किए जाएंगे. तो वहीं दूसरी ओर भीड़ का दबाव देखते हुए प्रमुख तिथियों पर बाबा के स्पर्श दर्शन पर भी रोक लगी रहेगी.
वीआईपी व प्रोटोकॉल के दर्शन
बाबा भोलेनाथ का सबसे प्रिय माह सावन 22 जुलाई से हो रहा है जिसे देखते हुए श्री काशी विश्वनाथ मंदिर के संबंध में ये बदलाव किए गए है. दरअसल, बाबा के इस भव्य मंदिर में सावन में आने वाले शिवभक्तों की तादात बहुत अधिक होती है ऐसे में खास इंतजाम भी किए जा रहे हैं. हेल्पडेस्क हो या प्रसाद, फूल, माला या फिर दूध संबंधी व्यवस्था करनी हो, ये सभी व्यवस्थाएं धाम में ही की जाएंगी. कतारबद्ध भक्तों को प्रसाद प्राप्त करने में परेशानी न हो इसका ध्यान रखा जाएगा. भक्त धाम के भीतर ही बाबा को अर्पित करने के लिए दूध, जल और प्रसाद ले पाएंगे. वीआईपी व प्रोटोकॉल के दर्शन के लिए भी कई तरह की व्यवस्था की जाएंगी.
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22 जुलाई से 19 अगस्त तक रहेगा सावन
सावन के सोमवार, प्रदोष व शिवरात्रि की तिथियां विशेष होती हैं और इस दिन भीड़ का दबाव मंदिर में बढ़ जाता है जिससे यह निर्णय लिया गया है कि बाबा का स्पर्श दर्शन पर इन विशेष तिथियों पर रोक लगा दी जाएगी. सोमवार को 18 प्रदेशों से सावन के पहले आ रहे 50 हजार यादव बंधुओं के जलाभिषेक के लिए भी एक पूरी कार्ययोजना को तैयार किया जा रहा है. सावन 22 जुलाई से लेकर 19 अगस्त 2024 तक रहने वाला है. पहला सोमवार व्रत 22 जुलाई को पड़ रहा है.
महीने भर होगी शिवमहापुराण की कथा
जानकारी है कि शिवमहापुराण की कथा का अनवरत पाठ सावन के महीने में किया जाएगा जिसके लिए तैयारियां हो रही है. आम श्रद्धालु बाबा के दर्शन तो करेंगे ही इसके साथ ही शिवजी की कथा का श्रवण भी कर पाएंगे.