किस दिशा में बैठकर भोजन न करें, पुराणों और पुरखों की कही बात जरूर मानें

वास्तु

हमारे वेदों और पुराणों में भी कहा गया है कि अगर हम अच्छा खाएंगे तो हमारा मूड भी अच्छा रहेगा. वेद पुराणों में भी बताया गया है कि हम अच्छा खाएंगे तो हमारा मन भी अच्छा होगा

विशेष नियम

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शास्त्रों में खाना खाने से जुड़े विशेष नियम बताए गए हैं. अगर इन नियमों का पालन न किया जाए तो घर में दरिद्रता आने लगती है.

पद्म पुराण में उल्लेख

हम खाना कहां पर और किस दिशा में बैठकर खाते हैं इसका असर पड़ता है. हमें किस दिशा में खाना चाहिए इसका उल्लेख पद्म पुराण में मिलता है.

सही दिशा

क्या आपको पता है कि सही दिशा में बैठकर खाना खाने का लाभ भी मिल सकता है या सही दिशा के विपरीत बैठकर भोजन करने का नुकसान भी झेलना पड़ सकता है.

पूर्व या उत्तर- पूर्व दिशा

पद्मपुराण के अनुसार, पूर्व या उत्तर- पूर्व दिशा में मुख करके भोजन करना शुभ होता है. यदि आप पूर्व दिशा की ओर मुंह करके खाना खाते हैं तो ये मेंटल स्‍ट्रेस दूर होता है.

पूर्व (East) दिशा की ओर

इन दोनों ही दिशाओं को खाना खाने के उपयुक्त माना जाता है. वास्तु के अनुसार अगर आप पूर्व (East) दिशा की ओर मुंह करके खाना खाते हैं तो आप बीमारियों से भी दूर रहेंगे. आपकी हेल्थ भी शानदार रहती है.

रुपये-पैसों की कमी

उत्तर (North) दिशा की ओर मुख करके खाना खाने से जीवन में धन-दौलत समृद्धि बढ़ती है. घर में रुपए-पैसों की कमी नहीं होती है.

पाचन रहेगा ठीक

पूर्व दिशा की ओर मुंह करके खाना खाते हैं तो आप लंबे समय तक जीवित रहते हैं. पाचन क्रिया ठीक रहेगी और आप फिट रहेंगे.

पश्चिम दिशा

पश्चिम दिशा में बैठकर भोजन करने से बॉडी का रक्त प्रवाह अच्छा होता है. इस दिशा में बैठकर भोजन करने से शरीर में रक्त का संचार सुचारू रहता है.

वास्तु दिशाओं का महत्व

वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की सभी दिशाएं प्रकृति के पांच तत्वों यानी वायु और अंतरिक्ष द्वारा शासित होती हैं और हर कोने या दिशा उनके द्वारा कंट्रोल होती हैं.

Disclaimer

यहां दी गई सभी जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. Zeeupuk इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.

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