भारतीय रेल से रोजाना लाखों लोग सफर करते हैं. इसकी गिनती दुनिया के बड़े रेल नेटवर्क में होती है.
आपने भी इससे एक न एक बार सफर जरूर किया होगा.
सफर करने से पहले आपने भी ट्रेन में रिजर्वेशन कराया होगा.
लेकिन क्या आपने कभी गौर किया है कि बस की तरह ही ट्रेन में सीट चुनने का विकल्प क्यों नहीं दिया जाता.
इस सवाल के बारे में शायद ही आपने सोचा होगा, या इसका मतलब पता होगा. चलिए आइए जानते हैं इसकी क्या वजह है.
बस की तरह ही ट्रेन में मनचाही सीट बुक न कर पाने के पीछे एक वैज्ञानिक कारण बताया जाता है.
दरअसल ट्रेन एक चलती हुई चीज है, ट्रेन में सुरक्षा की बड़ी जिम्मेदारी होती है.
रेलवे के बुकिंग सॉफ्टवेयर को ऐसे डिजाइन किया जाता है कि ट्रेन का लोड समान रूप से बांटा जा सके.
उदाहरण के तौर पर देखें स्लीपर कोच में 72 सीटें होती हैं. जब इसमें जब पहली टिकट बुक होगी तो वह कोच के मध्य में होगी.
रेलवे पहले लोअर बर्थ को बुक करता है, जिससे गुरुत्वाकर्षण केंद्र कम मिले.