महाराष्ट्र के मंत्री Dhananjay Munde को राहत, आरोप लगाने वाली महिला ने Rape केस लिया वापस; जानिए क्या है मामला
अपने एक मंत्री धनंजय मुंडे (Dhananjay Munde) के खिलाफ रेप केस दर्ज होने से संकट में फंसी महाराष्ट्र सरकार को फिलहाल राहत मिल गई है. आरोप लगाने वाली महिला ने मंत्री के खिलाफ अपनी शिकायत वापस ले ली है.
मुंबई: महाराष्ट्र (Maharashtra) के सामाजिक न्याय मंत्री और NCP नेता धनंजय मुंडे (Dhananjay Munde) के खिलाफ दर्ज बलात्कार (Rape) की शिकायत वापस ले ली गई है. मुंडे के खिलाफ मुंबई के ओशिवरा पुलिस थाने में 10 जनवरी को बलात्कार की शिकायत दर्ज करवाई गई थी. जिसके बाद तमाम विरोधी दलों ने मुंडे के इस्तीफे की मांग की थी.
आरोप लगाने वाली महिला ने शिकायत वापस ली
जानकारी के मुताबिक आरोप लगाने वाली महिला ने अब अपनी शिकायत वापस ले ली है. महिला का कहना है पिछले कुछ समय से धनंजय मुंडे और उसकी बहन के बीच में रिश्ते कुछ अच्छे नहीं चल रहे थे, जिसकी वजह से वो मानसिक तनाव में थी. उनकी शिकायत को लेकर राजनीतिक दल मुंडे (Dhananjay Munde) के खिलाफ अपनी अपनी खुन्नस निकाल रहे थे, इसलिए अब वो अपनी शिकायत वापस ले रही है.
बीजेपी ने धनंजय मुंडे के खिलाफ किया था प्रदर्शन
मुंडे के खिलाफ एफआईआर दर्ज होने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने उनके इस्तीफे की मांग की थी. अब मामला वापस होने के बाद बीजेपी आरोप लगाने वाली महिला के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रही हैं. इससे पहले धनंजय मुंडे के खिलाफ बलात्कार (Rape) की शिकायत दर्ज होने पर बीजेपी ने उनके इस्तीफे की मांग को लेकर कलेक्टर ऑफिस के बाहर मोर्चा निकाला था.
मामला शांत होने से NCP ने राहत की सांस ली
मुंडे के खिलाफ मामल दर्ज होने से सबसे ज्यादा NCP की किरकिरी हो रही थी. दबाव बढ़ा तो धनंजय मुंडे (Dhananjay Munde) के खुद सामने आकर सफाई देनी पड़ी थी कि महिला की बहन के साथ उनकी सहमति से रिश्ते रहे हैं और उससे दो बच्चे भी उनके अपने हैं. अब एफआईआर वापस होने के बाद न सिर्फ मुंडे बल्कि एनसीपी भी राहत की सांस ले रही है.
ये भी पढ़ें- उद्धव सरकार के मंत्री Dhananjay Munde पर सिंगर ने लगाया रेप का आरोप, कहा- वीडियो बनाकर किया ब्लैकमेल
शिवसेना ने NCP का मामला बताकर पल्ला झाड़ा
उधर NCP के साथ मिलकर महाराष्ट्र की सरकार चला रही शिवसेना इसे एनसीपी का व्यक्तिगत मामला बताकर पल्ला झाड़ रही है. वहीं ओशिवरा पुलिस ने शिकायतकर्ता महिला को हिदायत दी है कि वो एफआईआर वापस लेने की पूरी बात हलफनामे मे दे और उसे नोटरी के जरिए अधिकृत भी करवाए. जिससे आगे जाकर वो अपने बयान से मुकर नहीं सके.
LIVE TV