नई दिल्ली: कोरोना काल में वर्क फ्रॉम होम (Work From Home) कल्चर को बढ़ावा मिला है. लॉकडाउन के दौरान भी वर्क फ्रॉम होम के चलते ही बड़ी-बड़ी कंपनियों के काम भी नहीं रुके लेकिन इसका असर Offices की मांग पर हुआ है. वर्क फ्रॉम होम के चलते देश के सात प्रमुख शहरों में दफ्तर के लिये किराए या लीज पर जगह लेने में 2020 में सालाना आधार पर 44 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

कोरोना का असर
दरअसल कोविड-19 (Covid-19) महामारी के कारण कंपनियों ने अपनी विस्तार योजना फिलहाल टाल दी है और कर्मचारियों के लिए 'घर से काम' (Work From Home) की नीति अपना रही हैं. प्रॉपर्टी क्षेत्र की सलाहकार कंपनी जेएलएल इंडिया (JLL India) ने अपनी रिपोर्ट में यह बात कही है. दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता, हैदराबाद, पुणे और बेंगलुरु इन सात शहरों में 2019 में कार्यालय के लिये 4.65 करोड़ वर्गफुट जगह ली गई. जेएलएल ने कहा कि हालांकि, 2020 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में कार्यस्थल की मांग 52 प्रतिशत बढ़कर 82.7 लाख वर्गफुट रही जबकि इससे पिछली तिमाही में मांग 54.3 लाख वर्गफुट की रही.


यह भी पढ़ें: Corona Strain UK से सावधान, सरकार ने COVID-19 Guidelines बढ़ाई


लॉकडाउन ने किया ज्यादा प्रभावित
इस साल  जनवरी-मार्च के दौरान कार्यालय स्थल की कुल खपत 88 लाख वर्गफुट रही. यह खपत इस साल की दूसरी तिमाही में 33.2 लाख वर्गफुट रही थी. दूसरी तिमाही में मांग पर लॉकडाउन (Lockdown) का असर रहा था. जेएलएल इंडिया के सीईओ एवं कंट्री हेड रमेश नायर ने कहा, ‘साल 2019 में कुल खपत 4.6 करोड़ वर्गफुट से ऊपर ऐतिहासिक स्तर पर रही थी. इससे तुलना की जाये तो 2020 में खपत में 44 प्रतिशत की गिरावट आई है.