Alzheimer Disease: अक्सर बूढ़े लोगों को अल्जाइमर (Alzheimer) की बीमारी होती है, लेकिन आजकल की खराब लाइफस्टाइल के चलते कम उम्र के लोगों को भी अल्जाइमर अपना शिकार बना रही है. अल्जाइमर होने पर याद्दाश्त कमजोर हो जाती है. अल्जाइमर से हुई कमजोर याद्दाश्त को हम सामान्य सा भूलना मान लेते हैं और इसके लक्षणों (Symtems) को नजरअंदाज करने लगते हैं. अल्जाइर की वजह से आगे चलकर आप पूरी तरह से याद्दाश्त खो सकते हैं इसलिए इसके लक्षणों को इग्नोर नहीं करना चाहिए, बल्कि शुरुआती समय में ही इस पर ध्यान देकर परेशानी को खत्म कर लेना चाहिए. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

क्या है अल्जाइमर?


अल्जाइमर दिमाग (Brain) की बीमारी है, ये डिमेंसिया का ही एक प्रकार है. अल्जाइमर में व्यक्ति की याद्दाश्त कमजोर हो जाती है. अल्जाइमर में दिमाग में प्रोटीन की कमी हो जाती है और दिमाग की नसें सिकुड़ने लगती हैं. एक रिपोर्ट के मुताबिक पूरी दुनियां में लोगों की मौत का 6वा सबसे बड़ा कारण अल्जाइमर है. 


अल्जाइमर के लक्षण


अल्जाइमर को सामान्य भूलना सोचकर टालना नहीं चाहिए, इसके घातक परिणाम हो सकते हैं. अल्जाइमर होने पर कुछ लक्षण दिखाई देते हैं जो इस तरह हैं. 


- याद्दाश्त का कमजोर होना
- आंखों की रोशनी कमजोर हो जाना
- शक्ल पहचानने में दिक्कत 
- जल्दी भूल जाना
- थकान और कमजोरी 


अल्जाइमर के कारण


आजकल के तनाव और चिंता से भरी लाइफस्टाइल के चलते अल्जाइमर कम उम्र के लोगों को होने लगा है. अल्जाइमर तनाव और डिप्रेशन के चलते घातक रूप ले सकता है. सिर की चोट, डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, स्मोकिंग और जेनेटिक वजहों से अल्जाइमर की बीमारी हो सकती है. 


कैसे कम करें 


अल्जाइमर को कम करने के लिए किसी दवा की जरूरत नहीं है. अल्जाइमर का मैन कारण तनाव है, तो चिंता और डिप्रेशन को दूर करने के तरीके अल्जाइमर में फायदेमंद हो सकते हैं. इसको दूर करने के लिए योग और एक्सरसाइज कर सकते हैं. रोज मेडिटेशन करना भी बहुत अच्छा तरीका है. हेल्दी डाइट भी बीमारी को दूर करने में कारगर है.


ये ख़बर आपने पढ़ी देश की नंबर 1 हिंदी वेबसाइट Zeenews.com/Hindi पर