मिलिए Jammu- Kashmir की पहली महिला बस ड्राइवर Pooja Devi से, कड़े संघर्षों के बाद पूरा किया ख्वाब
पूजा देवी (Pooja Devi) जम्मू कश्मीर की पहली महिला बस ड्राइवर बन गई हैं. परिवार वालों के विरोध के बावजूद उन्होंने इस सपने को पूरा किया है. वे जम्मू-कठुआ रूट पर बसें चलाती हैं.
कठुआ जिले की रहने वाली हैं पूजा देवी
कठुआ जिले के संधार-बसोहली गांव में पली-बढ़ी 30 साल की पूजा (Pooja Devi) ने कहा कि उन्हें शुरू से ही ड्राइविंग का शौक था. वे किशोरावस्था से कार चला रही थी. लेकिन वे बड़ी गाड़ियां चलाना चाहती थी. उनका ये सपना अब जाकर पूरा हुआ है.
यह पेशा मुझे सूट करता है
पूजा ने कहा, 'मैं ज्यादा पढ़ी लिखी नहीं थी. इसलिए मुझे कोई बड़ी नौकरी मिलने की उम्मीद नहीं थी. लेकिन यह पेशा मुझे सूट करता है. मैं जम्मू में टैक्सी और ट्रक भी चला चुकी हूं.'
महिलाएं जेट उड़ा रही हैं तो बस क्यों नहीं चला सकती
पूजा देवी (Pooja Devi) ने कहा ,'मैं इस टैबू को तोड़ना चाहती थी कि केवल पुरुष ही यात्री बस चला सकते हैं. आखिरकार जब महिलाएं फाइटर जेट्स उड़ा रही हैं और एक्सप्रेस ट्रेन चला रही हैं तो बस चलाने में क्या दिक्कत है.'
सरदार कुलदीप सिंह ने दिया ड्राइवर बनने का मौका
पूजा देवी ने ड्राइवर बनने का अवसर मिलने के बारे में कहा,' मैं जम्मू-कठुआ रोड बस यूनियन के अध्यक्ष सरदार कुलदीप सिंह से मिली और बस चलाने देने का अनुरोध किया. उन्होंने शुरू में थोड़ी हैरानी दिखाई. लेकिन उसके बाद मुझे एक बस दे दी और कहा कि जाओ, अपने सपने को पूरा करो.'
आर्थिक रूप से कमजोर है पूजा का परिवार
पूजा देवी (Pooja Devi) ने कहा कि उनका परिवार आर्थिक रूप से कमजोर था. जिसके चलते उन्हें नौकरी करनी पड़ी. उन्हें जम्मू में एक प्रतिष्ठित ड्राइविंग संस्थान से प्रशिक्षक के रूप में प्रति माह 10 हजार रुपये मिल रहे थे. लेकिन वे परिवार के लिए कम पड़ रहे थे. जिसके बाद उन्होंने भारी वाहन ड्राइविंग लाइसेंस लेकर खुद ड्राइविंग में उतरने का फैसला किया.
अक्सर बेटे को बिठाकर ड्राइविंग करती हैं पूजा
पूजा देवी के तीन बच्चे हैं. उनकी बड़ी बेटी दसवीं कक्षा की छात्रा है. वे अक्सर अपने छोटे बेटे को बस में ही ड्राइवर सीट के पीछे बिठाकर साथ ले जाती हैं. पूजा कहती हैं कि बस ड्राइविंग का मौका मिलने से उनका सपना सच हो गया है.
पूजा को झेलना पड़ा परिवार का विरोध
बस ड्राइवर बनने के फैसले पर उन्हें अपने परिवार का काफी विरोध झेलना पड़ा. पूजा (Pooja Devi) ने कहा कि उनके परिवार के सदस्य और ससुराल वाले पेशे के खिलाफ थे. इसके बावजूद उन्होंने ड्राइवर बनने के अपने सपने को आगे बढ़ाने का फैसला किया.
बस चलाते देख लोग पूजा की तारीफ करते हैं
पूजा देवी कहती हैं कि लोग उन्हें बस चलाते हुए देखते हैं तो हैरान होते हैं. लेकिन जब वे बस में सवार हो जाते हैं तो उनके फैसले की तारीफ करते हैं. उन्हें मौका देने वाले जम्मू-कठुआ बस यूनियन के अध्यक्ष सरदार कुलदीप सिंह कहते हैं कि पूजा एक अच्छी ड्राइवर है. वह गाड़ी चलाते वक्त भरोसे से भरी और सतर्क रहती है.