China on S Jaishankar Statement: सीमा विवाद को लेकर दिए विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान पर चीन भड़क गया है. चीनी सरकार का मुखपत्र कहे जाने वाले ग्लोबल टाइम्स ने अपने संपादकीय में एस जयशंकर के बयान को लेकर भारत पर निशाना साधा है. ग्लोबल टाइम्स ने दावा किया है कि चीन ने नहीं, बल्कि भारत ने द्विपक्षीय समझौते की अवहेलना की और सीमा को पार किया. चीनी अखबार ने तो सीनाजोरी दिखाते हुए यहां तक लिखा कि भारत ने चीन के क्षेत्र पर अतिक्रमण किया है. 


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जयशंकर ने क्या बयान दिया था? 


बता दें कि रविवार को ब्राजील के साओ पाउलो में एक कार्यक्रम में जयशंकर ने कहा था कि अभी, हम एक बहुत ही कठिन दौर से गुजर रहे हैं. भारत और चीन के बीच 1990 के दशक से समझौते हैं. उन्होंने कहा कि चीन ने इसकी अवहेलना की है. गलवान घाटी में क्या हुआ था, आप जानते हैं. उस समस्या का समाधान नहीं हुआ है और यह स्पष्ट रूप से प्रभाव डाल रहा है.


ग्लोबल टाइम्स ने लिखा कि एस जयशंकर की हालिया टिप्पणी दोनों देशों के आपसी विश्वास को कम कर सकती है. इससे द्विपक्षीय संबंधों के विकास पर असर पड़ सकता है. ग्लोबल टाइम्स ने दावा किया कि चीन ने नहीं, बल्कि भारत ने द्विपक्षीय समझौतों की अवहेलना और उल्लंघन किया है और चीन के क्षेत्र पर अतिक्रमण किया है. 


ग्लोबल टाइम्स ने चीनी विश्लेषकों के हवाले से बताया कि 17 जुलाई को चीन और भारत के बीच कोर कमांडर स्तर की 16वीं बैठक के दौरान स्थिरता और शांति बनाए रखने पर सहमति बनी. दोनों ही पक्षों ने उकसावे की कार्रवाई न करने और बातचीत को जारी रखने का फैसला किया था. यह भारत है जिसने 1990 के दशक में दोनों देशों के बीच हस्ताक्षरित दो समझौतों का घोर उल्लंघन किया है. 


चाइनीज एकेडमी ऑफ सोशल साइंसेज के तहत इंस्टीट्यूट ऑफ चाइनीज बॉर्डरलैंड स्टडीज के रिसर्च फेलो झांग योंगपैन के हवाले से ग्लोबल टाइम्स ने बताया कि चीन और भारत ने 1993 और 1996 में सीमा मुद्दे पर दो समझौतों पर हस्ताक्षर किए. 1993 में हस्ताक्षरित सीमा समझौते में दोनों देशों के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा पर शांति और स्थिरता बनाने पर सहमति बनी थी.


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