नई दिल्ली: आतंकवाद के प्रसार के लिये मुहैया कराए जाने वाले धन की निगरानी करने वाली अंतरराष्ट्रीय निगरानी संस्था फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (FATF) द्वारा पाकिस्तान (Pakistan) की ग्रेडिंग पर आज आने वाले फैसले से पहले ही भारत ने गंभीर सवाल उठाए हैं. भारत (India) ने स्पष्ट कहा है कि पाकिस्तान आतंकवाद के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है बल्कि वह आतंकवादियों के लिए एक सुरक्षित पनाहगाह बना हुआ है.


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पाकिस्तान का आतंकवाद को बढ़ावा
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा है,  पाकिस्तान की हरकतें किसी से छिपी नहीं हैं. पाकिस्तान लगातार आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है. अभी तक किसी भी आतंकवादी संस्था या आतंकवादी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की है. इनमें यूएनएससी द्वारा घोषित मसूद अजहर (Masood Azhar), दाऊद इब्राहिम (Dawood Ibrahim), ज़ाकिर-उर-रहमान लखवी (Zakir-ur-Rahman Lakhvi) जैसे आतंकवादी शामिल हैं.


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विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि इनमें से ही भारत में 26/11 जैसे आतंकवादी हमले करने वाले आतंकवादी शामिल हैं. एफएटीएफ एक्शन प्लान के कुल 27 बिंदुओं में से पाकिस्तान केवल 21 पर बात कर रहा है बाकी अहम छह बिंदुओं को वह दबाना चाहता है, जिन पर चर्चा होनी चाहिए.


लगातार कर रहा सीफ फायर उल्लंघन
विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान से लगातार आतंकवादियों की घुसपैठ की कोशिश का जिक्र किया है. लगातार पाकिस्तान सीज फायर उल्लंघन कर रहा है. इसी वर्ष पाकिस्तानी ने 3800 से अधिक बार सीज फायर उल्लंघन किए हैं. लगातार पाकिस्तान द्वारा नियंत्रण रेखा के करीब हथियारों, गोला-बारूद और नशीले पदार्थों की तस्करी की कोशिशों का खुलासा हुआ है.


बता दें कि पाकिस्तान को 2018 में एफएटीएफ की ‘ग्रे-सूची’ में डाल दिया गया था और उसे धन का इस्तेमाल आतंकी वित्तपोषण में न हो इसके लिए सख्त हिदायत दी गई थी. अगर पाकिस्तान ऐसा करने में विफल रहता है तो इस बार उसे ब्लैक लिस्ट किया जा सकता है.


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