जो भी इस आइलैंड का मालिक बना, उसके पीछे पड़ जाता `मौत का साया`; कई पुराने किस्सों ने किया हैरान
Italy Island: गैयूला द्वीप इटली के दक्षिण-पश्चिम में नेपल्स की खाड़ी में स्थित है. साफ नीले टिर्रेनियन सागर में बिखरे हुए कई खूबसूरत द्वीपों में से एक जैसा दिखता है. इस चमकीले और धूपी द्वीप का एक काला इतिहास है जिसने इसे `शापित` ख्याति दिला दी है. लोककथाओं के अनुसार, जो कोई भी इस द्वीप का मालिक बनता है, उसे दुर्भाग्य का सामना करना पड़ता है. आइलैंड के पहले ज्ञात मालिक लुइगी नेग्री थे जिन्होंने 1800 के दशक के अंत में द्वीप खरीदा था. उन्होंने द्वीप पर एक विला बनाया जो आज भी वहां खड़ा है. आइलैंड खरीदने के तुरंत बाद नेग्री ने अपना सारा भाग्य खो दिया.
आखिर क्यों कहा जाता है शापित आइलैंड
1911 में, शिप कैप्टन गैस्पारे अलबेंगा ने आइलैंड को खरीदने में दिलचस्पी दिखाई, लेकिन जब उनका जहाज दुर्घटनाग्रस्त हुआ तो उनकी मृत्यु हो गई. आइलैंड का अगला धनी मालिक एक स्विस व्यक्ति हंस ब्रौन था, जिसने 1920 के दशक में आइलैंड खरीदा था. जल्द ही वह मृत पाया गया और एक कार्पेट में लिपटा हुआ था. बाद में उसकी पत्नी समुद्र में डूबकर मर गई.
एक और मालिक की मौत
आइलैंड के अगले मालिक ओटो ग्रुनबैक की मृत्यु दिल का दौरा पड़ने से हुई, जब वह द्वीप के विला में रह रहे थे. कुछ साल बाद आइलैंड का मालिक एक फ्रांसीसी दवा निर्माता कंपनी का उद्योगपति मौरिस-यव्स सैंडोज था.
आइलैंड मालिक बनते ही शुरू हो जाती बदनसीबी
सैंडोज ने 1958 में स्विट्जरलैंड के एक मानसिक अस्पताल में आत्महत्या करके अपने समृद्ध जीवन का अंत कर लिया. द्वीप का नया मालिक जर्मन इस्पात उद्योगपति बैरन कार्ल पॉल लैंगहेम था. जब लैंगहेम का कारोबार दिवालिया हो गया, तो उसने फिएट ऑटोमोबाइल्स के मालिक जियानी अग्नेली को द्वीप बेच दिया. खबरों के अनुसार, जियानी अग्नेली ने द्वीप खरीदने के बाद कई तरह की दुर्घटनाओं का सामना किया. उनके भाई अम्बर्टो अग्नेली की 1997 में कैंसर से मृत्यु हो गई.
मालिक के नाते-रिश्तेदारों के साथ हो जाता ऐसा
इसके बाद आइलैंड को अमेरिकी व्यापारिक दिग्गज जे पॉल गेटी ने खरीदा था. अरबपति गेटी के परिवार पर भी दुर्भाग्य का साया पड़ा. उनके सबसे छोटे बेटे की 12 साल की उम्र में ब्रेन ट्यूमर से मौत हो गई, जबकि उनके सबसे बड़े बेटे ने आत्महत्या कर ली. उनकी दूसरी पत्नी तालीथा की रोम में ड्रग ओवरडोज से मौत हो गई. 1973 में, गेटी के भतीजे का इटैलियन माफिया द्वारा अपहरण कर लिया गया और 2.2 मिलियन डॉलर की फिरौती मांगी गई. गेटी परिवार द्वारा मोटी फिरौती देने के बाद 16 साल के लड़के को रिहा कर दिया गया.
आखिर में सरकार ने कर लिया अपने अधीन
आइलैंड का आखिरी निजी मालिक जियानपास्केले ग्रैपोन एक बीमा कंपनी का मालिक था. बाद में उसे कर्ज न चुकाने के कारण जेल जाना पड़ा और उसकी पत्नी की कार दुर्घटना में मृत्यु हो गई. 1978 में, गैयूला आइलैंड इटैलियन सरकार के अधीन आ गया.