देश के सामने सिर्फ तीन बड़ी चुनौती, लालकिले से पीएम मोदी का प्रहार
77वें स्वतंत्रता दिवस के जश्न को पूरा देश धूमधाम से मना रहा है. लालकिले की प्राचीर से पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि देश के सामने भ्रष्टाचार, परिवारवाद और तुष्टीकरण तीन सबसे बड़ी चुनौतियां हैं. इन चुनौतियों का सामना करने के लिए उनकी सरकार प्रतिबद्ध है.
लालकिले से बुलंद आवाज
लाल किले पर आयोजित स्वतंत्रता दिवस समारोह में दो हजार से अधिक मेहमानों ने भाग लिया जिसमें मंत्री, राजनयिक, अमेरिकी कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल के सदस्य शामिल थे. इसके साथ ही वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम के 400 सरपंच पूरे भारत से 50 नर्स और उनके परिवार और स्कूलों के 50 बेहतरीन काम करने वाले शिक्षक शामिल थे.
देश में अब अवसरों की कमी नहीं
पीएम मोदी ने कहा कि अब युवाओं के लिए मेरा संदेश है कि अवसरों की कोई कमी नहीं है,यह देश आपको, जितने चाहें, उतने अवसर देने के लिए तैयार है.यह सुनिश्चित करते हुए कि भारत की क्षमता और संभावनाएं विश्वास की नई ऊंचाइयों को पार करने जा रही हैं.
देश के सामने तीन बड़ी चुनौती
देश को आगे ले जाने के लिए भ्रष्टाचार,भाई-भतीजावाद और तुष्टीकरण की तीन बुराइयों से छुटकारा पाने की जरूरत है, मोदी ने कहा कि भ्रष्टाचार ने भारत की क्षमता को बुरी तरह प्रभावित किया है और यह उनके जीवन की प्रतिबद्धता है कि वो भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ते रहेंगे.
अब गेंद हमारे पाले में
‘राष्ट्र सर्वप्रथम को अपनी सरकार की नीतियों का आधार बताते हुए मोदी ने कहा कि लोगों ने 2014 और 2019 में ऐसी सरकार बनाई जिससे उन्हें सुधारों को आगे बढ़ाने की ताकत मिली।उन्होंने कहा कि ‘अब न तो हमारे दिमाग में और न ही दुनिया के दिमाग में कोई किंतु-परंतु है. एक विश्वास विकसित हुआ है। अब गेंद हमारे पाले में है. हमें इस अवसर को हाथ से नहीं जाने देना चाहिए।’
अस्थिरता के युग से भारत अब आजाद
भारत अस्थिरता के युग से मुक्त हो गया है. 2014 में हम 10वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था थे. आज 140 करोड़ नागरिकों के प्रयासों से हम दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गए हैं. यह यूं ही नहीं हुआ. भ्रष्टाचार के जिस दानव ने देश को अपने चंगुल में जकड़ रखा था हमने उसे रोका और एक मजबूत अर्थव्यवस्था बनाई.