Chanakya Niti: जीवन में सफलता पाने के लिए कई मूलमंत्र हैं. जरूरत है कि इन मंत्रों पर टिका रहा जाए. ऐसे मूलमंत्र चाणक्य नीति में भी दिए गए हैं, जिनमें आचार्य चाणक्य द्वारा मानव जीवन को लेकर कही गई बातें संकलित हैं. आचार्य चाणक्य ने कर्मों को प्रधान बताया है. उनका कहना है कि कर्मों के जरिए ही इंसान का भविष्य निर्धारित होता है. उन्होंने कहा है कि इंसान के कुछ कर्म ऐसे होते हैं, जो उसको समय से पहले ही बूढ़ा बना देते हैं.  इन पर अगर समय रहते गौर कर लिया तो बुढ़ापा आने से पहले उसे कुछ हद तक रोका जा सकता है.


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शारीरिक सुख 


आचार्य चाणक्य का कहना है कि इंसान के लिए जितना भोजन अहम है, उतना ही मायने शारीरिक सुख रखता है.  खासकर जिन महिलाओं को समय-समय पर शारीरिक सुख नहीं मिलता है, वह जल्दी बूढ़ी हो जाती हैं. ऐसे महिलाओं को समय रहते सावधान हो जाना चाहिए.


यात्रा 


आचार्य चाणक्य के अनुसार, जो लोग बहुत ज्यादा यात्रा करते हैं, वे लोग जल्दी बूढ़े हो जाते हैं. क्योंकि, ऐसे लोगों की दिनचर्या ठीक नहीं होती है और ये लोग अपने रहन-सहन और भोजन पर पर्याप्त ध्यान नहीं दे पाते हैं. ऐसे में जरूरी है कि अनचाहे और गैरजरूरी यात्रा से जहां तक संभव हो बचें. ऐसा करने से जल्द बूढ़े होने से बच पाएंगे. 


बंधन 


चाणक्य नीति में कहा गया है कि बंधन कई तरह की समस्याओं को जन्म दे सकता है. इन्हीं में से एक बुढ़ापा भी है. उन्होंने कहा है कि ज्यादातर समय बांधकर रखा गया घोड़ा भी समय से पहले बूढ़ा हो जाता है. घोड़े का काम दौड़ना और मेहनत करना होता है और वह अपने इन दोनों कर्मों को छोड़ दे तो जल्द बुढ़ापा आ जाएगा. यही बात मानव पर भी लागू होती है.


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)