World`s Most Expensive Feather: 23.6 लाख रुपये में नीलाम हुआ, ये है दुनिया का सबसे महंगा पंख
Most Expensive Feather: काफी पहले लुप्त हो चुके न्यूजीलैंड के एक पक्षी का पंख सबसे महंगा नीलाम हुआ है. एक खरीदार ने इसके लिए 28,400 US डॉलर यानी 23.64 लाख रुपये की बोली लगाई.
World's Most Expensive Feather: दुनिया का सबसे महंगा पंख एक ऐसे पक्षी का है जो दशकों पहले लुप्त हो चुका है. एक नीलामी में, उस पंख के लिए रिकॉर्ड $28,400 (करीब 23,64,461 रुपये) की बोली लगी. नीलामी कराने वाले Webb’s Auction House के मुताबिक, हुइया पक्षी को आखिरी बार 20वीं सदी की शुरुआत में देखा गया था. Webb’s Auction House को लगा था कि यह पंख करीब डेढ़ लाख रुपये तक में नीलाम होगा. सोमवार को सब हैरान रह गए जब यह दुनिया के सबसे महंगे पंख के रूप में नीलाम हुआ. एक बयान में ऑक्शन हाउस ने कहा, 'यह दुर्लभ हुइया पंख एओटेरोआ के प्राकृतिक इतिहास का एक सुंदर उदाहरण है और हमें हमारे पारिस्थितिकी तंत्र की नाजुकता की याद दिलाता है.'
म्यूजियम ऑफ न्यूजीलैंड के अनुसार, हुइया पक्षी के पंखों को हाई स्टेटस वाले लोग सजावट के लिए इस्तेमाल करते थे. प्रमुख रैंक वाले लोगों को पोशाक में या शरीर पर हुइया पंख पहनने की इजाजत थी. यूरोपियन न्यूजीलैंडर्स ने भी हुइया के पंखों को सम्मान का प्रतीक समझा. वे इसके पंखों को फैशन एसेसरी की तरह इस्तेमाल करते थे.
हुइया पक्षी: बचाने की हर कोशिश रही नाकाम
म्यूजियम के अनुसार, 19वीं सदी में माओरी और यूरोपियन शिकारियों ने बड़े पैमाने पर हुइया पक्षियों का शिकार किया. उनकी खाल कलेक्टर्स और फैशन व्यापारियों को बेची जाती. 1901 में जब यॉर्क के ड्यूक और डचेस न्यूजीलैंड की यात्रा पर गए तो उनकी टोपियों में हुइया के पंख लगे थे. इससे हुइया की लोकप्रियता में रातों रात इजाफा हुआ और उनकी मांग खासी बढ़ गई. सबको हुइया का पंख चाहिए था. इससे यह पक्षी खतरे में पड़ गया. 20वीं सदी की शुरुआत में वैज्ञानिकों ने बचे हुए हुइया पक्षियों को बचाने की बड़ी कोशिश की, मगर नाकाम रहे.
पढ़ें: सूरज पर महाविस्फोट से सिर्फ धरती ही नहीं कांपी, समुद्र की गहराई में भी दिखा असर
Webb’s Auction House के मुताबिक, सभी संभावित खरीदारों का न्यूजीलैंड के संस्कति और विरासत मंत्रालय से परमिट लेना जरूरी था. चूंकि यह राष्ट्रीय महत्व की चीज है, इसलिए इस पंख को केवल रजिस्टर्ड कलेक्टर्स ही खरीद सकते थे. बिना मंत्रालय की इजाजत के पंख को देश से बाहर नहीं ले जाया जा सकता.