Ana Barbosu vs Jordan Chiles CAS Verdict : भारतीय रेसलर विनेश फोगाट को सिल्वर मेडल दिया जाएगा या नहीं, इसको लेकर कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट्स (CAS) का फैसला आना अभी बाकी है. बता दें कि अपनी वेट कैटेगरी से 100 ग्राम अधिक वजन पाए जाने के चलते विनेश को फाइनल मुकाबले से पहले डिसक्वालिफाई कर दिया गया था, जिसके बाद उन्होंने जॉइंट सिल्वर मेडल की अपील की. इसकी सुनवाई पूरी हो चुकी है. फैसला 13 अगस्त को आना है. इस केस से पहले CAS ने एक बड़ा फैसला सुनाते हुए रोमानिया की रेसलर को ब्रॉन्ज मेडल जिता दिया है, जो मुकाबले में चौथे स्थान पर रहीं थीं. आइए विस्तार से जानते हैं ये पूरा मामला क्या है.


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हारकर भी जीता ब्रॉन्ज


दरअसल, हुआ यूं कि जिम्नास्टिक के फ्लोर इवेंट में रोमानिया की एना बारबोसु चौथे स्थान पर रही थीं. अमेरिका की जॉर्डन चाइल्स ने तीसरे स्थान पर रहते हुए ब्रॉन्ज मेडल जीता. इवेंट के फाइनल राउंड में पॉइंट्स के आधार पर अमेरिका की जिम्नास्ट रोमानिया की खिलाड़ी से आगे रहीं और इस आधार पर उन्होंने ब्रॉन्ज मेडल जीता. लेकिन एना बारबोसु और उनकी टीम ने CAS में केस करते हुए यह कहा कि जॉर्डन को गलत पॉइंट्स दिए गए हैं.


CAS ने पलटा फैसला


रोमानिया की जिम्नास्ट और उनकी टीम की अपील के बाद CAS ने जांच की और पाया कि ऐसा ही हुआ है. लंबी सुनवाई के बाद CAS ने अमेरिकी जिम्नास्ट के स्कोर को काटकर 13.666 कर दिया, जो पहले 13.766 था. अब पॉइंट्स के आधार पर रोमानिया की जिम्नास्ट तीसरे स्थान पर आ गईं और ब्रॉन्ज मेडल उनके नाम हो गया. एना बारबोसु का स्कोर 13.700 था. इस तरह अमेरिकी जिम्नास्ट से ब्रॉन्ज मेडल छिन गया.


विनेश केस में फैसले का इंतजार


विनेश फोगाट केस में CAS के फैसले का पूरे भारत को इंतजार है. पहले यह फैसला 10 अगस्त को आना था, लेकिन इसकी डेट आगे बढ़ा दी गई और अब 13 अगस्त को इसका फैसला आएगा. विनेश फोगाट ने पेरिस ओलंपिक में 50 किग्रा फ्रीस्टाइल कुश्ती के फाइनल में जगह बना ली थी. उन्होंने प्री-क्वार्टर फाइनल, क्वार्टर फाइनल और सेमीफइनल मैच जीतकर फाइनल तक का सफर तय किया, लेकिन गोल्ड मेडल मैच से पहले उनका 100 ग्राम वजन अधिक पाया गया, जिसके चलते उन्हें अयोग्य करार दे दिया गया. विनेश ने इसके बाद CAS में जॉइंट सिल्वर मेडल देने की अपील की, जिस पर सुनवाई पूरी हो चुकी है. सभी को इंतजार है तो बस फैसले का.