Death Penalty: ईरान में माफी को रद्द कर एक शख्स को दोबारा फांसी पर लटकाया, पीड़ित के परिवार के मुकरने पर सजा
Iran Human Rights Violations: ईरान में लागू इस्लामिक शरिया कानून के अनुसार, पीड़ित का परिवार या तो आरोपी को माफ कर सकता है या फांसी के बदले `ब्लड मनी` कबूल कर सकता है.
Iran Execution Statistics: मध्य पूर्व स्थित कट्टर शिया इस्लामिक देश ईरान में एक शख्स को दो बार फांसी के फंदे पर चढ़ाने का अनोखा मामला सामने आया है. दुनिया में फांसी की सजा के मामले में सबसे ज्यादा बदनाम मुल्क में महज कुछ ही महीने के अंतराल पर अहमद अलीज़ादेह नाम के एक शख्स की माफी को खारिज कर दोबारा फांसी पर लटका दिया गया. ध्रुवीय देश नार्वे में ईरान मानवाधिकार संगठन (IHR) ने ये जानकारी दी है.
26 साल के युवक को 2018 में ठहराया गया था कत्ल का दोषी
ईरान मानवाधिकार संगठन के अनुसार, अप्रैल में उसे फांसी देने के पिछले प्रयास को अंतिम समय पर रोक दिए जाने के छह महीने बाद बुधवार को तेहरान के बाहर गेज़ेल हेसर जेल में एक ईरानी शख्स को फांसी दे दी गई. अहमद अलीज़ादेह नाम के 26 साल के शख्स को साल 2018 में हत्या का दोषी ठहराया गया था. हालांकि, उसने इस आरोप से उसने इनकार करते हुए कहा था कि उसने यातना के चलते जुर्म कबूल किया था.
पहली बार फांसी की प्रक्रिया के 28 सेकंड बाद उतारा गया
बाद में पीड़ित के परिवार ने कथित तौर पर शुरुआती फांसी के 28 सेकंड बाद हस्तक्षेप किया और उसे माफ़ी दे दी. ईरानी कानून के तहत ये माफी किसी भी फांसी को रोक सकता है. फांसी रोके जाने के बाद अलीज़ादेह के लगभग बेजान शरीर को फांसी से उतार कर इलाज के लिए भेजा गया था. ईरान के शरिया कानून के अनुसार, पीड़ित का परिवार या तो आरोपी को माफ़ कर सकता है या फांसी से छुड़ाने के बदले ब्लड मनी कबूल कर सकता है.
ब्लड मनी पर सहमति नहीं बनी तो दोबारा फांसी पर लटकाया
हालांकि, यह दया और माफी ज़्यादा दिनों तक नहीं टिकी. अलीजेदाह और पीड़ित के परिवार के बीच ब्लड मनी पर कोई सहमति न बनने के कारण, अधिकारियों ने बुधवार को गेज़ेल हेसर जेल में उसकी फांसी की सज़ा फिर से शुरू की और पूरी सज़ा पर अमल किया. ह्युमन राइट एक्टिविस्ट के मुताबिक, ऐसे मामलों में अक्सर दोषी का परिवार ब्लड मनी की भारी भरकम रकम का खर्च उठाने में सक्षम नहीं होता और फांसी की सजा हो जाया करती है.
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IHR ने की फांसी की निंदा, युवक को बताया प्रतिभाशाली छात्र
ईरान मानवाधिकार संगठन के निदेशक महमूद अमीरी-मोगद्दाम ने फांसी की सज़ा की निंदा की. उन्होंने इसे ईरान की "फांसी मशीन" का हिस्सा बताया. उन्होंने कहा कि एक "प्रतिभाशाली छात्र" अलीज़ादेह ने हमेशा अपनी बेगुनाही बनाए रखी थी. ईरान द्वारा मृत्युदंड का उपयोग भय पैदा करने के साधन के तौर पर किया जाता है. इसलिए अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार समूहों की आलोचना का विषय बना हुआ है.
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चीन के अलावा दुनिया में सबसे ज्यादा मौत की सजा देता है ईरान
एमनेस्टी इंटरनेशनल की रिपोर्ट है कि ईरान बस एक चीन को छोड़कर किसी भी दूसरे देश की तुलना में अधिक लोगों को मृत्युदंड देता है. ईरान में अकेले अक्टूबर में कम से कम 166 लोगों को मृत्युदंड दिया गया है. आईएचआर द्वारा 2007 में डेटा ट्रैक करना शुरू करने के बाद से यह एक महीने में मौत की सजा की सबसे बड़ी संख्या है. हालांकि, ईरान में साल 2024 में मृत्युदंड की संख्या में अचानक तेजी देखी जा रही है.