नीलाम होगा ढाई अरब का चश्मा, भारत के शाही खजाने का था हिस्सा
भारत के शाही खजाने का हिस्सा रहे दो चश्मे ब्रिटेन में नीलाम किए जा रहे हैं. ये चश्मे 17वीं सदी के मुगल काल के दौरान के हैं.
लंदन: मुगल काल के भारत के एक अज्ञात शाही खजाने के 17वीं सदी के दुर्लभ रत्नों वाले दो चश्मों को पहली बार नीलामी के लिए पेश किया जाएगा, सोथबीज लंदन ने गुरुवार को इसकी घोषणा की. एक अनुमान के मुताबिक इन दो चश्मों की कीमत 15 लाख और 25 लाख पाउंड होगी.
नाम भी हैं दिलचस्प
हीरे लगे चश्मे को ‘हलो ऑफ लाइट’ नाम दिया गया है वहीं पन्ना वाले चश्मे को ‘गेट ऑफ पैराडाइज’ कहा गया है. दोनों को 22 अक्टूबर से सोथबीज लंदन में प्रदर्शित किया जाएगा और 27 अक्टूबर को उन्हें नीलामी के लिए रखा जाएगा.
इतिहासकारों के लिए बड़ा चमत्कार
मध्य पूर्व और भारत के लिए सोथबीज के अध्यक्ष एडवर्ड गिब्स ने कहा कि निस्संदेह रत्नों के विशेषज्ञों और इतिहासकारों के लिए ये चमत्कार है. उन्होंने कहा कि इन खजानों को सामने लाना और दुनिया को उनके निर्माण के पीछे के रहस्य पर आश्चर्य करने का अवसर प्रदान करना एक वास्तविक रोमांच है.
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17वीं शताब्दी के हैं चश्मे
अनोखे चश्मे की कहानी 17वीं शताब्दी के मुगल भारत में शुरू हुई जब शाही धन, वैज्ञानिक ज्ञान और कलात्मक प्रयास सभी एक साथ अपने चरम पर पहुंच गए थे. एक अज्ञात राजकुमार के कहने पर एक कलाकार ने एक हीरे को यह आकार दिया जिसका वजन 200 कैरेट से अधिक था. वहीं शानदार पन्ने का वजन कम से कम तीन सौ कैरेट था. उन्होंने उत्कृष्ट स्किल के साथ यह रूप दिया.
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