British Royal Family: ब्रिटेन के सम्राट किंग चार्ल्स III (King Charles III) का राजतिलक आज होगा. लंदन के ऐतिहासिक शाही गिरजाघर वेस्टमिंस्टर एबे में सम्राट चार्ल्स और उनकी पत्नी महारानी कैमिला की ताजपोशी की जाएगी. राज्याभिषेक समारोह, लंदन के स्थानीय समय के मुताबिक़ सुबह 11 बजे शुरू होगा. 


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राज्याभिषेक आमतौर पर पिछले सम्राट की मृत्यु के कई महीने बाद होता है, क्योंकि यह एक खुशी का अवसर माना जाता है जो शोक जारी रहने पर आयोजित करना अनुचित माना जाता है. यह अंतराल योजनाकारों को जरूरी प्रबंधन का भी मौका दे देता है. इससे पहले 2 जून 1953 को किंग चार्ल्स III की मां महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का राज्याभिषेक हुआ था जबकि उन्होंने पदभार 6 फरवरी 1952 को ही संभाल लिया था.  


महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का आठ सितंबर को 96 वर्ष की उम्र में निधन हो गया था. वह 70 साल तक राजगद्दी पर रहीं.


समारोह में शामिल होने के लिए ब्रिटेन के प्रधानमंत्री, संसद के दोनों सदनों के सदस्यों, राज्याध्यक्षों और दुनिया भर के अन्य शाही परिवारों के सदस्यों को न्योता दिया गया है. इसके साथ ही करीब 100 देशों के राज्याध्यक्षों या शासनाध्यक्षों के शामिल होने की उम्मीद है.


जिल बाइडेन पहुंची लंदन
अमेरिका की प्रथम महिला जिल बाइडन शनिवार को वेस्टमिंस्टर एबे में होने वाले महाराजा चार्ल्स तृतीय के ऐतिहासिक राज्याभिषेक समारोह में हिस्सा लेने के लिए शुक्रवार को लंदन पहुंचीं. प्रधानमंत्री ऋषि सुनक और उनकी पत्नी अक्षता मूर्ति ने उनका स्वागत किया.  जिल के साथ उनकी पोती फिनेगन बाइडन भी आई हैं और वह भी राज्याभिषेक समारोह में शिरकत करेंगी.


उपराष्ट्रपति धनखड़ होंगे शामिल
भारत से उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ इस कार्यक्रम में शामिल हो रहे हैं. वह भी शनिवार को अपनी पत्नी डॉ.सुदेश धनखड़ के साथ लंदन पहुंच गए. उन्होंने किंग चार्ल्स III के साथ मुलाकात भी की. बता दें राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पिछले साल सितंबर में ब्रिटेन की यात्रा की थी और दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के अंतिम संस्कार में शामिल होकर भारत की ओर से संवेदनाएं व्यक्त की थीं.


नाना की गद्दी पर बैठेंगे किंग चार्स्ल III 
राज्याभिषेक के दौरान किंग चार्ल्स III उस गद्दी पर बैठेंगे, जिसका इस्तेमाल 86 वर्ष पहले उनके नाना जॉर्ज-षष्टम की ताजपोशी के समय किया गया था. शाही परंपरा के अनुसार एबे में राज्याभिषेक के विभिन्न चरणों के दौरान पारंपरिक गद्दियों और सिंहासनों का उपयोग किया जाता है. राज्याभिषेक के दौरान महाराजा चार्ल्स और उनकी पत्नी महारानी कैमिला अलग-अलग क्षणों में ‘सेंट एडवर्ड्स चेयर’, ‘चेयर्स ऑफ स्टेट’ और ‘थ्रोन चेयर्स’ पर बैठेंगे.


‘थ्रोन चेयर्स’ का इस्तेमाल 12 मई, 1937 को किंग जॉर्ज षष्टम और महारानी एलिजाबेथ के राज्याभिषेक के लिए किया गया था. ‘चेयर्स ऑफ द स्टेट’ का निर्माण 1953 में किया गया था और उसी साल दो जून को महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के राज्याभिषेक के दौरान इसका इस्तेमाल किया गया था. ‘सेंट एडवर्ड्स चेयर’ का निर्माण 700 साल पहले किया गया था और महाराजा एडवर्ड द्वितीय के राज्याभिषेक के दौरान इसका इस्तेमाल किया गया था. राज्याभिषेक के बाद चार्ल्स इसी गद्दी पर बैठेंगे.


पीएम सुनक पढ़ेंगे बाइबिल का संदेश
ब्रिटेन के प्रधानमंत्रियों द्वारा राजकीय अवसरों पर संदेश पढ़े जाने की हालिया परंपरा को ध्यान में रखते हुए ऋषि सुनक शनिवार को महाराज चार्ल्स तृतीय के राज्याभिषेक के अवसर पर ‘कुलुस्सियों की बाइबिल’ पुस्तक से संदेश पढ़ेंगे.


सुनक भारतीय विरासत के ब्रिटेन के पहले प्रधानमंत्री और एक धर्मनिष्ठ हिंदू हैं. बाइबिल संबंधी संदेश के साथ उनके संबोधन से छह मई को वेस्टमिंस्टर एब्बे में ईसाई समारोह के लिए बहु-धार्मिक विषय की गूंज सुनाई देगी.


29000 से अधिक पुलिस कर्मी होंगे तैनात
राज्याभिषेक समारोह की पुख्ता सुरक्षा व्यवस्था के लिए सप्ताह भर में 29,000 से अधिक पुलिस अधिकारियों की तैनाती होगी. पुलिस मुख्यालय ‘स्कॉटलैंड यार्ड’ ने बुधवार को यह जानकारी दी. शनिवार को राज्याभिषेक दिवस और सप्ताहांत से सोमवार तक अधिकारी तैनात रहेंगे.


मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने कहा कि सुरक्षा व्यवस्था के लिए इस अभियान को ‘गोल्डन ऑर्ब’ नाम दिया गया है. राज्याभिषेक समारोह के दिन 11,500 अधिकारी ड्यूटी पर तैनात होंगे. यह लंदन में अब तक के सबसे बड़े सुरक्षा अभियानों में से एक होगा.