Chandigarh PGI Glaucoma Awareness Week : 10 मार्च से 16 मार्च 2024 तक चंडीगढ़ पीजीआई एडवांस आई सेंटर व्लर्ड ग्लूकोमा सप्ताह मनाने जा रहा है. पीजीआईएमईआर चंडीगढ़ के एडवांस्ड आई सेंटर ने ग्लौकोमा के बारे में जनता के बीच जागरूकता बढ़ाने के लिए एक सत्र कार्यक्रमों की घोषणा की है.  ग्लूकोमा जागरूकता सप्ताह के उपलक्ष्य में पीजीआई एडवांस सेंटर की तरफ से रविवार को रॉक गार्डन से सुखना लेक तक जन जागरूकता रैली निकाली गई, जिसमें डॉक्टरों के साथ काफी संख्या में लोग शामिल हुए.


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दरअसल बीते दिनी पीजीआई के एडवांस आई सेंटर के प्रमुख प्रो. एसएस पांडव ने प्रेसवार्ता  की थी. जिसमें उन्होंने विश्व ग्लूकोमा सप्ताह (Chandigarh PGI Glaucoma Awareness Week) के अंतर्गत 10 से 16 मार्च तक होने वाले कार्यक्रमों की जानकारी दी. वहीं, हफ्तेभर अलग-अलग माध्यमों से लोगों को जागरूक करने का प्रयास किया जाएगा। 


जागरूकता वाक के अलावा, एडवांस्ड आई सेंटर हफ्तों तक ग्लौकोमा (Chandigarh PGI Glaucoma Awareness Week) के बारे में जानकारी वाणिज्यिक मीडिया, जैसे कि एफएम रेडियो के माध्यम से, बांटने का सोच रहा है. ध्यान केंद्र से बाहर, यह रोगी और उनके देखभालकर्ताओं पर जागरूकता कार्यक्रम पर भी ध्यान केंद्रित है.


हर आठवां व्यक्ति ग्लूकोमा से पीड़ित
एक रिसर्च के मुताबिक देश में हर आठवां व्यक्ति ग्लूकोमा से पीड़ित है. 11.2 मिलियन भारतीय इस बीमारी से ग्रस्त हैं और 1.1 मिलियन लोग अंधे हैं. इनमें बच्चे भी शामिल हैं. आधे से ज्यादा लोग अपनी स्थिति के बारे में अनजान हैं. 


-प्रो. एसएस पांडव  के मुताबिक एडवांस्ड आई सेंटर ने अप्रैल-2023 से फरवरी 2024 के बीच 4352 नए पंजीकृत और 25452 फॉलोअप मरीजों का इलाज किया. यह मर्ज 40 साल के बाद होने का खतरा बढ़ जाता है, इसलिए इस दौरान नियमित जांच जरूरी है.


क्या है इसके लक्षण


लक्षणों में सिर दर्द, धुंधलापन और रोशनी के चारों तरफ अलग-अलग रंगों का दिखाई देना है. वहीं, जब हमारे देखने का दायरा धीरे-धीरे कम होने लगता है तो यह समझ लेना चाहिए कि इस मर्ज की चपेट में आ चुके हैं. 


What Is Glaucoma
ग्लूकोमा (Glaucoma) आंख से जुड़ी एक बीमारी है. इसे काला मोतियाबिंद भी कहा जाता है.   10 से 15 प्रतिशत केसों में यह बीमारी भाई-बहनों में भी पाई जाती है. 


ऐसे रखें ध्यान 
40 साल के बाद आंखों की जांच समय-समय में कराते रहें. रोजाना वर्कआउट करें.