Himachal Pradesh News: एनजीटी द्वारा गठित कमेटी ने निर्माणाधीन राष्ट्रीय राजमार्ग 707 का किया दौरा
Himachal Pradesh News: पांवटा साहिब से गुम्मा तक निर्माणाधीन राष्ट्रीय राजमार्ग 707 के निर्माण में धांधलियों को लेकर कई बार आरोप लगते रहे हैं. इसे देखते हुए 5 विभागों की एक टीम का गठन किया गया. इस टीम ने नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेशों पर निर्माणाधीन राष्ट्रीय राजमार्ग का दौरा किया.
ज्ञान प्रकाश/पांवटा साहिब: नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेशों पर गठित 5 विभागों की कमेटी ने निर्माणाधीन राष्ट्रीय राजमार्ग 707 का दौरा किया. आप नेता नाथू राम चौहान ने गलत डंपिंग और पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने को लेकर एनजीटी में पीआईएल दाखिल की है. आरोपों की प्रारंभिक जांच के लिए सिरमौर उपायुक्त की अध्यक्षता में कमेटी गठित की गई है.
सिरमौर जिला में पांवटा साहिब से गुम्मा तक राष्ट्रीय राजमार्ग 707 निर्माणाधीन है. राष्ट्रीय राजमार्ग के निर्माण में शुरू से धांधलियों के आरोप लगते रहे हैं. प्रशासन और मॉर्थ को शिकायत करने के बावजूद कंपनियों की मनमानी जारी रही. लिहाजा आप नेता नाथूराम चौहान ने प्रदूषण और गलत ढंग से डंपिंग को लेकर एनजीटी में पीआईएल डाली. इस मामले में अब एचटी एक्शन मोड पर है. एनजीटी ने इस मामले में बनाए गए सरकारी विभागों को मामले की जांच कर रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं.
ये भी पढ़ें- Himachal News: 'कुर्सी का नहीं है मोह' चंबा में आयोजित जनसभा के दौरान बोले CM सुक्खू
एनजीटी ने सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड, मिनिस्ट्री ऑफ एनवायरमेंट एंड फारेस्ट, एक्सईएन पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड पांवटा साहिब, प्रोजेक्ट डायरेक्टर मॉर्थ को जॉइंट इंफेक्शन के निर्देश दिए. डीसी सिरमौर को इस कमेटी का ऑर्डिनेटर नियुक्त किया गया है. इस कमेटी ने आज सीसीआई राजबन से लेकर कफोटा तक निरीक्षण किया. एनजीटी को दी शिकायत में जिन स्थानों पर अवैध और अवैज्ञानिक डंपिंग का जिक्र है, उन स्थानों पर टीम ने निरीक्षण किया और रिपोर्ट तैयार की. सभी टीमों ने कफोटा से गुम्मा तक 21 मार्च को निरीक्षण की तिथि तय की है. इसके बाद कमेटी एनजीटी को रिपोर्ट सौंपेगी.
शिकायतकर्ता नाथूराम चौहान ने बताया कि निर्माण का काम कर रही कंपनियों ने लगभग 72 जगहों पर अवैध रूप से डंपिंग की है. इससे कई करोड़ टन मलबा नालों और बरसाती खड्डों में चला गया है. पीने के पानी और सिंचाई की कई स्कीम मलबे में दब गईं. लाखों की संख्या में पेड़-पौधे नष्ट हो गए हैं. करोड़ों टन मलबे नालों के किनारे पड़ा है. नाथूराम चौहान का कहना है कि यह करोड़ों टन मलबा बरसाती पानी के साथ बहकर बाढ़ का रूप ले सकता है. उससे मैदानी क्षेत्रों में बड़ी मात्रा में भूमि कटाव की भी संभावना है.
ये भी पढ़ें- Doctors Strike: नूरपुर में हिमाचल चिकित्सा अधिकारी संघ की पेन डाउन स्ट्राइक जारी
कोऑर्डिनेशन कमेटी के अध्यक्ष एडीसी सिरमौर एलआर वर्मा ने बताया कि एनजीटी के निर्देशों के अनुसार कफोटो तक चिन्हित डंपिंग साइड का निरीक्षण किया गया है. कफोटा से आगे गुम्मा तक 21 मार्च को निरीक्षण किया जाएगा. उन्होंने कहा कि निरीक्षण की रिपोर्ट एनजीटी को सौंप जाएगी.
WATCH LIVE TV