जल संकट बना आफत! एक तरफ शिमला पहुंचे सैलानी तो लोकल लोगों की बढ़ी चिंता!
Water Problem In Shimla: शहर में अब लोग पानी के लिए टैंकरों पर निर्भर होते जा रहे हैं. पानी की कमी होटल कारोबार पर भी भारी पड़ सकती है. टैंकरों के लिए भी लंबी कतारें नगर निगम के स्टोरेज टैंक के बाहर लग रही हैं.
शिमला: कहते है न कि कुछ भी एकदम निपुर्ण नहीं होता. पहाड़ों की रानी शिमला भी दूर से बेहद सुंदर लगती है, लेकिन जो परेशानी वहां लोकल लोगों को होती है, इसका अंदाजा सैलानी नहीं लगा सकते.
न जाने कितने दिनों से शहर में लोगों को पानी की किल्लत सता रही है. पानी की कमी को देखते हुए ऐसा लग रहा है कि मानों अब शहर में आने वाले दिनों में पानी की कमी होटल कारोबार पर भी भारी पड़ सकती है.
शहर में पानी की किल्लत दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है. राजधानी में कई इलाकों में तीसरे दिन भी लोगों को पानी नहीं मिल रहा है. हाल ऐसे है कि टुटू में पांचवें दिन भी लोगों को पानी नहीं मिल पा रहा.
शहर में अब लोग पानी के लिए टैंकरों पर निर्भर होते जा रहे हैं. टैंकरों के लिए भी लंबी कतारें नगर निगम के स्टोरेज टैंक के बाहर लग रही हैं.
बुधवार को सभी पेयजल योजनाओं से 38.42 एमएलडी पानी मिला है. इसमें गिरि से 17.72, चुरट से 1.46, सियोग से 0.02, चैयड़ से 0.47 और कोटी बरांडी से 1.63 एमएलडी पानी मिला है.
बुधवार को गुम्मा में शट डाउन होने के कारण यहां से पानी नहीं मिला. इससे शहर के कई इलाकों में वाटर सप्लाई प्रभावित रही. गुम्मा से शहर को 17.12 एमएलडी पानी मिला. यहां से 22 एमएलडी पानी मिलता है।
शिमलावासी सैलानियों को कर रहे हैं मना?
शिमला के निवासी कई सैलानियों को यहां आने से भी मना कर रहे हैं, लोगों का कहना कि वे पहले ही पानी की कमी से जूझ रहे हैं ऐसे में उनके यहां आने से परेशानी और ज्यादा बढ़ जाएगी.