Kolkata Doctor Rape Case: कोलकाता आरजी कर मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर के रेप और हत्या के मामले में मुख्य मुल्जिम संजय रॉय ने 23 अगस्त को जज से सामने रोने लगा और दावा किया है कि वह बेकसूर है. वहीं, सीबीआई ने आरोपी को कोलकाता की अदालत में पेश किया और मामले में उसकी और संदिग्धों के पॉलीग्राफ टेस्ट की इजाजत मांगी. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

खुद को निर्दोष बताने के लिए पॉलीग्राफ टेस्ट की इजाजत
पॉलीग्राफ टेस्ट यानी झूठ पकड़ने वाला टेस्ट सिर्फ कोर्ट और आरोपी की सहमति के बाद ही किया जा सकता है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, जब जज ने पूछा कि वह पॉलीग्राफ टेस्ट के लिए क्यों सहमति दे रहे हैं, तो संजय रॉय कथित तौर पर रो पड़ा. उसने कोर्ट को बताया कि उन्होंने टेस्ट के लिए सहमति इसलिए दी, क्योंकि उनका मानना ​​है कि वह निर्दोष हैं. संजय रॉय के हवाले से कहा, "मैंने कोई अपराध नहीं किया है. मुझे फंसाया जा रहा है. शायद यह टेस्ट यह साबित कर देगा."


मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल समेत पांच लोगों का होगा पॉलीग्राफ टेस्ट
इसके बाद अदालत ने संजय रॉय पर पॉलीग्राफ परीक्षण की इजाजत दे दी, साथ ही उसे 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया. अदालत ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष और मामले से जुड़े पांच दूसरे लोगों पर पॉलीग्राफ टेस्ट की इजाजत भी दी है. इन पांच व्यक्तियों में चार डॉक्टर शामिल हैं. जिन्होंने घटना की रात मृतक डॉक्टर और रॉय के साथ भोजन किया था.


क्या है पूरा मामला
कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार हॉल के भीतर 9 अगस्त को जूनियर डॉक्टर के साथ रेप किया गया और उसकी हत्या कर दी गई. यह घटना 9 अगस्त की देर रात चेस्ट डिपार्टमेंट के तीसरी मंजिल के सेमिनार हॉल में हुआ और बाद में पुलिस ने कहा कि उसके शरीर पर कई घाव और जख्म पाए गए हैं.