Comment on Bengali: बॉलीवुड के जाने माने अदाकार परेश रावल भाजपा के लिए गुजरात में प्रचार कर रहे हैं. इस दौरान उन्होंने बंगालियों पर एक बयान दे दिया जिससे सियासी गलियारे में हलचल मच गई. मामला इतना बढ़ गया कि यह पुलिस तक पहुंच गया. 


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दरअसल गुजरात इलेक्शन प्रचार के दौरान परेश रावल ने बंगालियों पर कमेंट कर दिया. उन्होंने कहा कि मुद्रास्फीति को बर्दाश्त करेंगे लेकिन बांग्लादेशियों और रोहिंग्या को पड़ोस में नहीं. मगरिबी बंगाल में सत्ता पर काबिज तृणमूल कांग्रेस ने अदाकार परेश रावल की पर बयानबाजी पर निशाना साधा है. पूर्व MP और माकपा नेता मोहम्मद सलीम ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है. 


परेश रावल ने 'मछली पकाने' जैसे लफ्जों का इस्तेमाल किया. इस पर पूर्व सांसद मोहम्मद सलीम ने कोलकात के तलतला पुलिस स्टेशन में लिखा कि "शिकायत को FIR के तौर पर लिया जाए और अदाकार पर मुकदमा चलाया जाए, क्योंकि उनके कमेंट बंगालियों के खिलाफ गलत राय पैदा कर रहे हैं."


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मोहम्मद सलीम ने कहा कि "बड़ी तादाद में बंगाली राज्य की सरहद के बाहर रहते हैं. मुझे लग रहा है कि परेश रावल की तरफ से किए गए कमेंट की वजह से उनमें से कई को तासुब (पूर्वाग्रह) का निशाना बनाया जाएगा." 


इल्जाम है कि परेश रावल ने कहा था कि "गैस सिलेंडर महंगे हैं, लेकिन इनकी कीमतों में कमी आएगी. लोगों को रोजगार मिलेगा. लेकिन क्या हो अगर रोहिंग्या प्रवासी और बांग्लादेशी दिल्ली की तरह आपके आसपास रहने लगें? गैस सिलेंडर का क्या करेंगे? बंगालियों के लिए मछली पकाओगे?"


हालांकि, परेश रावल ने अपने बयान पर माफी मांग ली है. उनका दावा है कि जब उन्होंने "बंगाली" लफ्ज का इस्तेमाल किया तो उनका मतलब "अवैध बांग्लादेशियों और रोहिंग्या" से था. 


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