Muzaffarnagar Jamiat Ulema E Hind Memorandum: यूपी के मुजफ्फरनगर में जमीयत-उलेमा-ए-हिंद के कार्यकर्ताओं ने हरियाणा के नूंह में हुई हिंसा पर गहरा दुख प्रकट करते हुए डीएम के माध्यम से महामहिम राष्ट्रपति के नाम एक ज्ञापन सौंपा. इस मेमोरेंडम में उन्होंने हरियाणा की नूंह हिंसा और मणिपुर हिंसा के आरोपियों को जल्द से जल्द गिरफ्तार करके उन्हें सख्त से सख्त सजा देने की मांग की. गुरुवार को जमीयत-उलेमा-ए-हिंद के पदाधिकारी और कार्यकर्ता मुजफ्फरनगर के कलेक्ट्रेट में पहुंचे और डीएम से मुलाकात की. संगठन के कार्यकर्ताओं ने हरियाणा के मेवात में हुई हिंसा की सख्त अल्फाज में निंदा की और दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की.


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यात्रा में लाठी-डंडों का क्या काम: जमीयत
जमीयत-उलेमा-ए-हिंद ने यात्रा के दौरान मोनू बालेसर और बिट्टू बजरंगी द्वारा दी गई धमकी और अमार्यादित भाषा के इस्तेमाल पर भी अफसोस का इजहार किया. इस दौरान जमीयत-उलेमा-ए-हिंद के प्रदेश महासचिव मौलाना नजर ने कहा कि, धार्मिक यात्राओं पर कोई रोक नहीं है, लेकिन जिस तरह से इन लोगों ने गलत शब्दों का इस्तेमाल किया, वो बेहद निंदनीय है. साथ ही साथ जमीयत के लोगों ने यात्रा में लाठी-डंडे लेकर चलने पर भी ऐतराज जताया. उन्होंने कहा कि आरोपियों का चाहे किसी भी मजहब से संबंध हो, उन्हें सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए.



इमाम की मौत पर जताया रोष
जमीयत-उलेमा-ए-हिंद के कार्यकर्ताओं ने गुरूग्राम मस्जिद में बेकसूर इमाम की मौत पर रोष जताते हुए पीड़ित परिवार को एक करोड़ के मुआवजे की मांग की. इस दौरान जमीयत ने मणिपुर हिंसा पर भी गहरा दुख प्रकट करते हुए बीजेपी सरकार पर सवाल उठाए और आरोपियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की. बता दें कि, हरियाणा के गुरुग्राम में हुई हिंसक झड़प में एक नायब इमाम की जान चली गई थी. हिंसा में मारे गए युवक हाफ़िज़ मोहम्मद साद पिछले तीन साल से गुरुग्राम में ट्यूशन पढ़ाकर जीवन यापन कर रहे थे. मृतक पास के ही मस्जिद में नायब इमाम के पद पर भी कार्यरत थे. इमाम शाद का ताल्लुक बिहार के जिला सितामढ़ी से था.  गुरुग्राम के सेक्टर-57 में भीड़ के हमले में इमाम की मौत हो गई थी.


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