Pakistan News: ह्यूमन राइट्स फोकस पाकिस्तान (HRFP) ने रविवार को पाकिस्तान के गोजरा की 50 साल की ईसाई औरत शाजिया यूनुस के खिलाफ ईशनिंदा के आरोपों की निंदा की है. HRFP ने आरोपों को निराधार बताया है और पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के अधिकारों की सुरक्षा की मांग की है. 


क्या है पूरा मामला?


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यूनुस को 21 दिसंबर को गिरफ्तार किया गया था और उस पर पाकिस्तान पीनल कोड (पीपीसी) की धारा 295-बी के तहत कुरान का अपमान करने का आरोप लगाया गया था. एचआरएफपी ने प्रेस रिलीज जारी करते हुए कहा,"ह्यूमन राइट्स फोकस पाकिस्तान (HRFP) गोजरा, पाकिस्तान की एक ईसाई महिला शाज़िया यूनुस के खिलाफ ईशनिंदा के आरोपों की कड़ी निंदा करता है. 50 साल की शाज़िया को 21 दिसंबर, 2024 को ईशनिंदा के आरोपों के बाद से गिरफ़्तार किया गया है, क्रिसमस से ठीक 4 दिन पहले जब वह क्रिसमस समारोह की तैयारी कर रही थी."


एचआरएफपी के चीफ नवीद वाल्टर ने कहा कि शाजिया यूनुस के खिलाफ लगाए गए आरोप बेबुनयाद है. वाल्टर ने कहा कि ईशनिंदा कानून के मुताबिक, शाजिया पर पीपीसी की धारा 295-बी के तहत कुरान के अपमान का आरोप लगाया गया है, जिसके लिए आजीवन कारावास की सजा हो सकती है.


वाल्टर ने दिया दूसरा केस का ब्योरा


वाल्टर ने कहा कि शाजिया यूनुस के खिलाफ आरोप उसी शहर गोजरा के के लगे चार्जेस जैसे हैं, जहां 6 अगस्त, 2024 को दो बहनों सोनिया और साइमा पर बाहर कूड़ा फेंकते समय ईशनिंदा का आरोप लगाया गया था. उन्होंने शाजिया यूनुस के खिलाफ लगाए गए झूठे आरोपों पर अपनी गंभीर फिक्र का इजहार किया है.


वाल्टर ने कई घटनाओं का दिया उदाहरण
वाल्टर ने कहा, "उदाहरण के लिए, 2023 में, जरानवाला में एक भयानक घटना हुई, जहां एक हिंसक भीड़ ने चर्चों और घरों में आग लगा दी और तोड़फोड़ की. दुख की बात है कि मई 2024 में एक और घटना हुई जब कट्टरपंथियों के एक समूह ने कथित तौर पर नजीर मसीह और उनके परिवार पर हिंसा की, जिससे उनकी दुखद मौत हो गई. ईसाई 2009 में गोजरा और कोरियान में हुई दुखद घटनाओं को कभी नहीं भूलेंगे."


एचआरसीपी चीफ ने आगे मांग की कि शाजिया यूनुस को जेल में सिक्योरिटी और न्याय सुनिश्चित किया जाए और उसे तुरंत रिहा किया जाए. उन्होंने कहा, "एचआरएफपी टीम शाजिया यूनुस के मामले पर बारीकी से नज़र रख रही है.