फोन पर `हैलो’ के बजाए `वंदे मातरम’ बोलने की अपील; कैसी लगी आपको मंत्री की ये सलाह ?
Say Vande Mataram on Phone Call instead of Hello: महाराष्ट्र सरकार ने एक आदेश जारी कर सरकारी अफसरों औश्र लोगों से ऑफिशियल और निजी व्यवहार में फोन कॉल पर ‘हैलो’ के बजाय ‘वंदे मातरम’ बोलने की अपील की है.
मुंबईः आप अपने मोबाइल पर कॉल (Phone call) रिसीव करने पर क्या बोलते हैं ? जाहिर है, ज्यादातर लोग हैलो बोलते होंगे. कुछ और बोलने के लिए आपसे किसी ने नहीं कहा होगा, या फिर हैलो बोलने पर किसी ने ऐतराज भी नहीं जताया होगा. आपको जो मन है, वह बोलें; आपकी मर्जी! लेकिन महाराष्ट्र में सरकारी कर्मचारियों को फोन कॉल का जवाब हैलो (Hello) के बजाय 'वंदे मातरम’ (Vande Matram) बोलकर देने की अपील की गई है. एक मंत्री के इस अपील का कुछ लोगों ने विरोध किया है.
वंदे मातरम का मतलब, हम अपनी मां को नमन कर रहे हैं
दरअसल, इतवार को महाराष्ट्र सरकार ने एक मुहिम की शुरुआत की है, जिसमें लोगों से फोन कॉल पर ‘हैलो’ के बजाय ‘वंदे मातरम’ बोलने की अपील की गई है. दो अक्टूबर को महात्मा गांधी की जयंती पर वर्धा जिले में आयोजित एक रैली में राज्य के सांस्कृतिक मामलों के मंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने कहा, ‘‘वंदे मातरम का मतलब है कि हम अपनी मां को नमन कर रहे हैं. इसलिए, लोगों से हमारी अपील है कि वे फोन कॉल रिसीव करते वक्त हैलो के बजाय वंदे मातरम कहें.’’
जवाब देते वक्त ‘हैलो’ कहने से बचें
मंत्री ने कहा, ‘‘अगर लोग ‘जय भीम’ या ‘जय श्री राम’ कहना चाहते हैं, या फोन कॉल का जवाब देते वक्त अपने माता-पिता के नाम का जिक्र करना चाहते हैं...तो इसमें हमें कोई दिक्कत नहीं है. हमारी अपील है कि बस फोन कॉल का जवाब देते वक्त ‘हैलो’ कहने से बचें.’’ मंत्री ने कहा कि स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान ब्रिटिश शासकों ने ‘इंकलाब जिंदाबाद’ जैसे नारे पर बैन लगा दिया था. हालांकि, इस आदेश ने कई लोगों को स्वतंत्रता आंदोलन में शामिल होने के लिए प्रेरित किया और आखिरकार हमें स्वतंत्रता मिली. यहां तक कि महात्मा गांधी ने भी वंदे मातरम की हिमायत की थी.
यह अनिवार्य नहीं है
गौरतलब है कि शनिवार को जारी एक सरकारी प्रस्ताव में महाराष्ट्र सरकार के कर्मचारियों और अफसरों से आधिकारिक या निजी फोन कॉल के दौरान ‘‘हैलो’’ के बजाय ‘‘वंदे मातरम’’ कहकर लोगों का अभिवादन करने की अपील की गई थी. हालांकि, सरकारी प्रस्ताव के मुताबिक, यह अनिवार्य नहीं है. बस, विभागों के प्रमुखों को अपने कर्मचारियों को ऐसा करने के लिए प्रोत्साहित करना है. इसके मुताबिक, ‘हैलो’ पश्चिमी संस्कृति को दर्शाता है और इस शब्द का कोई खास अर्थ भी नहीं है, जबकि वंदे मातरम कहकर लोगों का अभिवादन करने से स्नेह की भावना पैदा होती है.
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