नई दिल्लीः हिंदुस्तान की संस्कृति बहुरंगी और निहायत ही समृद्ध है, जिसमें ऊर्दू अदब रचा-बसा है. कोई इससे खुद को अलग नही कर सकता है. यहां तक कि ऊर्दू के विरोध करने वाले भी खुद को इसके असर से दूर नहीं रह पाते हैं. बात अगर सियासत की हो तो यहां भी उर्दू की शेर-ओ शायरी का बहुत ज्यादा घुसपैठ है! अकसर नेता एक दूसरे पर तंज करने के लिए किसी मशूहर शायर के कलाम का सहारा ले लेते हैं. कई बार उर्दू में दिए गए बयान नेताओं का मशहूर डायलाॅग बन जाता है. फिर वह बयान उस दिन की खबरों की सुर्खियां बन जाती है. 


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मुख्यमंत्री का शुक्रिया अदा करना... 
अभी हाल ही में 5 जनवरी को पंजाब दौरे पर गए प्रधानमंत्री का रास्ता रोके जाने के बाद प्रधानमंत्री एक रैली को खिताब किए बिना ही वापस लौट आए थे. वापस आने के बाद उन्होंने एयपोर्ट पर कहा था, ’’अपने मुख्यमंत्री का शुक्रिया अदा करना मैं जिंदा वापस लौट आया हूं.’’ प्रधान मंत्री का यह बयान उनके सुरक्षा में हुई भारी चूक के बाद दिया गया था. इस बयान का कई लोगों ने मजाक भी उड़ाया था और इसपर मीम्स भी बनाए गए थे, लेकिन प्रधानमंत्री का यह बयान दिन भी खबरों में रहा. 

तुम सलामत रहो कयामत तक...
दूसरी जानिब, पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने पिछले दिनों राज्य के दौरे पर आए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में हुई चूक को लेकर गुरुवार को अफसोज का इजहार किया. चन्नी ने प्रणानमंत्री की सलामती की कामना करने के लिए उन्होंने एक शेर भी पढ़ा. कोविड-19 की स्थिति पर समीक्षा के लिए प्रधानमंत्री द्वारा बुलाई गई मुख्यमंत्रियों की बैठक के दौरान चन्नी ने उनके दीर्घायु होने की कामना करते हुए शेर सुनाया. चन्नी ने मोदी से कहा कि उनके पंजाब दौरे के दौरान जो कुछ भी हुआ उसका उन्हें खेद है क्योंकि देश का प्रधानमंत्री होने के नाते वह उनके लिए बहुत सम्मानित हैं. उन्होंने कहा, ‘‘तुम सलामत रहो कयामत तक और खुदा करे कि कयामत ना हो..’’ 


देश भर में पंजाब सरकार की आलोचना की गई
सड़कों पर किसानों के विरोध-प्रदर्शन की वजह से प्रधानमंत्री को लगभग 20 मिनट तक एक हाईवे पर रूकना पड़ा था. इस घटना के बाद कांग्रेस और भाजपा आमने-सामने आ गई थी. भाजपा नेताओं ने कांग्रेस और पंजाब सरकार पर प्रधानमंत्री की हत्या की साजिश रचने तक का आरोप लगाया है. चन्नी पहले भी इस घटना को लेकर खेद जता चुके हैं लेकिन साथ ही वह यह भी कहते रहे हैं कि प्रधानमंत्री की जान को कोई खतरा नहीं था. कुछ मौकों पर तो उन्होंने इस मुद्दे पर प्रधानमंत्री का मजाक भी उड़ाया था. इसके लिए देश भर में पंजाब सरकार की आलोचना की गई. कई लोगों को इसका जिम्मेदार मानते हुए उन्हें उनके पद से मुअत्तल भी कर दिया गया है और मामले की जांच की जा रही है. 


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