हापुड़: मुसलमानों को बदनाम करने और समाज में दंगा-फसाद फ़ैलाने के मकसद से दक्षिणपंथी हिंदूवादी संगठन के लोगों के जरिये मंदिर के आगे मांस का टुकड़ा फेंकने और गाय काटने के मामले आपने तो खूब सुने होंगे; लेकिन एक नए मामले मुसलमानों को बदनाम करने के लिए एक हिन्दू शख्स ने खुद मंदिर में घुसकर भगवान की मूर्ती तोड़ दी. पकड़े जाने पर उसने अपनी पहचान एक मुस्लिम के तौर पर बताई लेकिन जल्द ही उसकी सच्चाई सामने आ गई. 


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हापुड़ जिले के बहादुरगढ़ थाना का मामला 


ये मामला बहादुरगढ़ थाना क्षेत्र के गांव बिहूनी के एक शिव मंदिर का है. यहां मंदिर में देर रात एक नौजवान ने मंदिर में रखी मूर्तियों और शिवलिंग को तोड़ दिया. इसकी जानकारी जब सुबह पूजा-पाठ करने के लिए आए अकीदतमंदों को हुई, तो उनमें नाराजगी और गुस्सा फैल गया. वो नौजवान रात में भी मंदिर के पास देखा गया था, तब उसने वहां काम करने वाले सेवादार को अपनी मुस्लिम पहचान बताई थी. उस वक़्त उसने मंदिर में कोई तोड़फोड़ नहीं की थी. जब सुबह में लोगों ने मंदिर में तोड़फोड़ देखा तो पुलिस को इसकी सूचना दी. 


सूचना मिलते ही थाना बहादुरगढ़ पुलिस मौके पर पहुंची कर आनन-फानन में तत्काल कार्रवाई की. लोगों से आरोपी शक्स की निशानदेही पर पास के ही गांव गंदू नगला में रहने वाले एक युवक को हिरासत में लिया. पूछताछ में उस युवक ने पुलिस को बताया कि उसका असली नाम शंकर दुबे है और वो धर्म से हिन्दू है. 


पुलिस ने कहा, शराब के नशे में था युवक 


पुलिस के मुताबिक युवक द्वारा शराब के नशे में मंदिर में मूर्तियों को क्षतिग्रस्त किया गया. लेकिन पुलिस ये बताने में विफल रही की कोई इंसान नशे में हिन्दू होकर खुद को मुसलमान क्यों बताएगा. जबकि गाँव के कुछ लोगों का दावा है कि स्थानीय लोगों ने मंदिर में मूर्तियों को क्षतिग्रस्त करने वाले युवक की मौके पर ही पिटाई भी की थी. फिलहाल पुलिस ने मुलजिम को अपनी हिरासत में ले लिया है. 


मुस्लिम के नाम पर बम से उड़ाने और प्रधानमंत्री को मारने की भी दी जा चुकी है धमकी 


ये कोई पहला मामला नहीं है, जब मुस्लिम के नाम पर ऐसे अपराध किये गए हों. मुल्क में इस वक़्त मुसलमान को पुलिस केस में फंसाने या फिर दंगा- फसाद भड़काने के लिए ऐसे मामले रोज़ सामने आ रहे हैं. मुसलमान के नाम पर ईमेल भेजकर ट्रेन, प्लेन और स्कूल कालेज को बम से उड़ाने की भी धमकी दी जा रही है. वहीँ, मुस्लिम के नाम पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को जान से मारने की धमकी वाला ईमेल पिछले १० सालों में १० बार से भी ज्यादा भेजा जा चुका है. ऐसे मामले में आरोपी को हलके फुल्के धारा लगाकर पुलिस मुलजिमों को छोड़ देती है.