Karnataka School Classes Colour: कर्नाटक में स्कूल क्लास को भगवा रंग में रंगवाने का मुद्दा सुर्खियों में है. कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने सोमवार को जारी की गई नई स्कीम ‘विवेक’ के तहत बनाए जाने वाली हजारों स्कूल क्लासेज़ को भगवा रंग से रंगने के सरकार के कदम का बचाव किया है. आपको बता दें स्वामी विवेकानंद के नाम पर रखी गई इस योजना के तहत, कर्नाटक सरकार ने स्टेट में 7,601 क्लासेज़ बनाने का प्रस्ताव रखा है.


बोम्मई बोले तिरंगे में भी होता है भगवा


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बोम्मई ने चिल्ड्रन्स डे के मौके पर कालबुर्गी जिले के मड़ियाल में सरकारी सीनियर सेकेंडरी स्कूल में आधारशिला रखकर इस योजना की शुरुआत की. क्लासेज को भगवा रंग से रंगने के कदम के बारे में पूछे जाने पर मुख्यमंत्री ने कहा, “भगवा रंग के नाम से लोग (गुस्से से) लाल क्यों हो जाते हैं? भगवा रंग में क्या गलत है? (राष्ट्रीय) तिरंगे में भगवा रंग है. स्वामी विवेकानंद खुद भगवा वस्त्र पहनते थे.” 


बोम्मई ने कांग्रेस पर लगाया आरोप


बोम्मई ने आरोप लगाया, “वे (कांग्रेस) शिक्षा के विकास में रुचि नहीं रखते हैं” उन्होंने कहा कि किए गए किसी भी मोडर्न बदलाव पर विवाद खड़ा करने की उनका मिजाज़ रहा है. मुख्यमंत्री ने कहा, “विवेकानंद संन्यासी थे. विवेक का मतलब ज्ञान होता है. हमने स्कूलों का नाम विवेकानंद के नाम पर रखा है ताकि बच्चों को उनसे सीख मिले और स्कूलों का अच्छा माहौल बना रहे.’’ 


"रंग फाइनल करना आर्किटेक्ट का फैसला"


स्कूल एजुकेशन मिनिस्टर बी सी नागेश ने कहा कि अगर आर्किटेक्ट सरकार को सलाह देते हैं कि ऐसी क्लास में भगवा रंग अच्छा लगता है, तो उसे ऐसे रंग से रंगा जाएगा. नागेश ने कहा, “हमने फैसला आर्किटेक्ट पर छोड़ दिया है. सरकार यह तय नहीं करती है कि किस तरह का पेंट, खिड़की, दरवाजे और सीढ़ियां बनाई जानी हैं. वे (आर्किटेक्ट) क्या कहेंगे, हम इस पर फैसला लेंगे.” 


उन्होंने कहा, “कुछ लोगों को भगवा रंग से एतराज नहीं है.” कांग्रेस पर निशाना साधते हुए मंत्री ने कहा, “मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि उनके (पार्टी के) झंडे में भगवा रंग है. आपने इसे क्यों रखा? इसे हटा दें." 


कांग्रेस नेता सिद्धरमैया ने कही ये बात


सीनियर कांग्रेस लीडर और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने कहा, ‘‘इस भगवाकरण के मामले में यह ध्यान रखा जाना चाहिए कि यह भाजपा का नहीं बल्कि सरकारी पैसा है. क्या लोगों ने भगवाकरण की मांग की है या क्या उन्हें ऐसा करने का जनादेश मिला है? क्या उन्हें इतिहास के साथ छेड़छाड़ करने का जनादेश मिला है?’’