Facebook and Instagram Subscription: डेटा प्राइवेसी को लेकर यूरोपियन यूनियन ने अपने कई नियमों में बदलाव किया है. मेटा पर आरोप लगते आएं की वे यूजर्स का डेटा चोरी करता है. बता दें कि मेटा इस डेटा का इस्तेमाल एडवर्टाइजमेंट यूजर्स को दिखाने के लिए करता है. मेटा का कहना है कि अगर हम यूजर्स के डेटा का इस्तेमाल एडवर्टाइजमेंट के लिए नहीं कर सकते हैं तो इसके लिए पैसे देने होंगे. फेसबुक और इंस्टाग्राम की सब्सक्रिप्शन सर्विस में यूजर्स को एड फ्री एक्सपेरियंस मिलेगा. ये सब्सक्रिप्शन सर्विस अभी यूरोप के देशों में लागू की जा रही हैं.

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18 से कम उमर के यूजर्स के लिए फ्री  
यह सब्सक्रिप्शन 18 साल ज्यादा उम्र के यूजर्स के लिए हैं. अगर आप 18 से ज्यादा उम्र के है तो आपको  फेसबुक और इंस्टाग्राम चलाने के लिए मेटा को पैसा देना होगा. फिलहाल यह सर्विस यूरोपियन यूनियन के देशों में लांच की गई है, हालांकि भारत में भी इसको लॉन्च किए जाने की उम्मीद है. मेटा के लिए भारत सबसे बड़ा बजार है, एक अनुमान के तहत मेटा के करीब 22.1% यूजर्स भारत में रहते हैं.

सब्सक्रिप्शन का चार्ज कितना 
मेटा की सब्सक्रिप्शन सर्विस यूरोपियन यूनियन कई देशों में आज यानी 1 नवंबर 2023 से लागू हो रही है. मेटा की सब्सक्रिप्शन सर्विस के लिए आपको 9.99 यूरो (करीब 880 रुपये) हर महीने देने होंगे. इससे पहले एक्स ने भी अपनी सब्सक्रिप्शन सर्विस शुरू की है. X का बेसिक सब्सक्रिप्शन प्लान की कीमत भारत में  244 महीना है. 

क्यों चार्ज लगा रहा है मेटा?
आप जब भी कोई सोशल मीडिया ऐप का इस्तेमाल करते हैं, तो वहा आपको एड देखने मिलते है. ये एड मेटा आपकी एक्टिविटी को नोटिस करने के बाद दिखाता है और एडवर्टाइजमेंट कंपनी से पैसा चार्ज करता है.  जब मेटा आपकी एक्टिविटी का डेटा नहीं ले पाएगा तो मेटा की कमाई का मेन स्रोत खत्म हो जाएगा. इसलिए आपको मेटा की एप यूज करने के लिए पैसा देना होगा.