Who is Nikhat Zareen? महिला विश्व बॉक्सिंग चैंपियनशिप की मेजबानी भारत कर रहा है. इसका आयोजन दिल्ली में हो रहा है. यहां आज रविवार को भारत की शानदार मुक्केबाज निखत जरीन ने 48-50 किग्रा भार वर्ग में सोने का तमगा हासिल किया है. निखत जरीन महान खिलाड़ी एम सी मैरीकॉम के बाद दूसरी बार ऐसी खिलाड़ी बन गई हैं जिन्होंने इस चैंपियनशिप में दूसरी बार सोना जीता है. इस तरह से निखत जरीन तीसरी बार सोना जीतने वाली खिलाड़ी बन गई हैं. निखत ने फाइन में वियतनाम की न्यूगेन थी ताम को शिकस्त दी. 


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निखत की बड़ी बहनें हैं डॉक्टर


निखत जरीन की पैदाइश तेलंगाना के निजामाबाद में 14 जून साल 1996 में हुआ था. उनके पिता मोहम्मद जमील सेल्समैन का काम करते हैं जबिक मां गृहणी हैं. निखत जरीन से दो बड़ी बहनें हैं और एक छोटी बहन है. उनकी दोनों बड़ी बहने डॉक्टर हैं.


13 साल की उम्र में शुरू की बॉक्सिंग


निखत ने महज 13 साल की उम्र में बॉक्सिंग शुरू की थी. उनका ये सफर बहुत मुश्किलों भरा रहा है. चूंकि वह मुस्लिम समुदाय से आती हैं इसलिए उन पर हिजाब पहनने का दबाव डाला गया. उनके बॉक्सिंग ड्रेस यानी उनके शॉर्ट्स पहनने पर भी लोगों ने खूब आपत्ति जताई है. लेकिन उनकी कामयाबी पर वही लोग ताली बजा रहे हैं जो उनकी आलोचना करते थे. 


पिता ने दिया साथ


मुश्किल हालात में निखत के परिवार का साथ रहा. निखत के पिता खुद पूर्व फुटबॉलर और क्रिकेटर रह चुके हैं ऐसे में निखत को उनके पिता का सपोर्ट रहा. निखत अक्सर लड़कों के साथ प्रैक्टिस करती थीं. उन्हें इस बारे में भी कई बातें सुनने को मिलती थीं लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी. वह लगातार अपने काम पर फोकस करती रहीं. 


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तालीम भी जारी रही


निखत की शुरूआती तालीम निजामाबाद के निर्मला हृदय गर्ल्स हाई स्कूल से हुई. इसके बाद उन्होंने हैदराबाद के एवी कॉलेज से ग्रेजुएशन किया. इस दौरान निखत ने बॉक्सिंग की प्रैक्टिस जारी रखी. निखत चाचा बॉक्सिंग कोच हैं. वह अपने बेटों को बॉक्सिंग सिखाते हैं. ऐसे में निखत ने उन्हीं से बॉक्सिंग सीखी.


इस तरह हुई करियर की शुरूआत


कॉलेज के दिनों में निखत ने अपने बॉक्सिंग करियर की शुरूआत की. वह कक्षा 10 में थीं जब उन्होंने 15 साल की उम्र में ही नेशनल सब जूनियर मीट में हिस्सा लिया. साल 2011 में निखत ने तुर्की में हुए महिला जूनियर यूथ वर्लड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में फ्लाई वेट में सोने का तमगा हासिल किया. इसी साल निखत ने 'अंतर्राष्ट्रीय मुक्केबाजी संघ महिला युवा' और 'जूनियर विश्व चैंपियनशिप' में गोल्ड जीता. इसके बाद निखत ने बैंकॉक में हुए ओपन इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में चांदी का पदक जीता. इसके बाद साल 2014 में निखत ने नेश्नल कप इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में स्वर्ण जीता है. 


ओलंपिक में पदक जीतने का है सपना


अब निखत ज़रीन का सपना है कि वह ओलंपिक खेलों में खेलें और वहां भी स्वर्ण पदक जीतें. जिस तरह से कामयाबी उनके कदम चूम रही है. उससे लगता है कि अगले साल होने वाले पेरिस ओलंपिक में वह कुछ अच्छा कर सकती हैं. 


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