पटनाः कभी भाजपा और कभी महागठबंधन में जाकर अपनी विश्वसनीयता पर उठे सवालों पर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने शुक्रवार को कहा कि वह अब जिंदगी में फिर कभी भाजपा के साथ नहीं जाएंगे. 
नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने समस्तीपुर में एक इंजीनियरिंग कॉलेज के उद्घाटन के दौरान कहा कि मैं अपनी पूरी जिंदगी में अब दोबारा कभी भाजपा के साथ कभी नहीं जाऊंगा. अटल बिहारी वाजपेयी, लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी जैसे भाजपा के पिछले नेता असली नेता थे, जो विश्वास करते थे. भाजपा के मौजूदा नेता सिर्फ बात कर रहे हैं, और काम करने से उनका कोई लेना-देना नहीं है.


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आज की भाजपा के नेता सिर्फ अपनी बात करते हैं
नीतीश कुमार ने कहा, ’’बिहार इंजीनियरिंग कॉलेज, पटना देश का सबसे पुराना संस्थान है, और मैं इसका छात्र था. जब मैं केंद्र में मंत्री बना तो मैंने जोशी (वाजपेयी सरकार में मानव संसाधन विकास मंत्री) से इसे राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान के तौर पर मान्यता देने का अनुरोध किया और उन्होंने तुरंत मेरी बात मानकर ऐसा कर दिया. वे नेता आम लोगों के लिए सोचते हैं जबकि आज की भाजपा के नेता सिर्फ अपनी बात करते हैं.

अब, हम बिहार में समाजवादी सरकार हैं
नीतीश कुमार ने कहा, ’’मैं 2017 में भाजपा के साथ गया था, इस उम्मीद में कि वह अटल, आडवाणी, जोशी के उत्तराधिकारी हैं, और लोगों के लिए काम करेंगे. चूंकि उनका आम लोगों से कोई लेना-देना नहीं है, इसलिए मैं उनसे अलग हो गया. अब, हम बिहार में समाजवादी सरकार है. सभी समाजवादी नेता एक साथ आए और हम आम लोगों के लिए काम करेंगे. हम बिहार के साथ-साथ देश को भी विकास के रास्ते पर लाएंगे. नीतीश कुमार ने कहा, जब मैं भाजपा के साथ था, तो वे चुप थे. जब मैं महागठबंधन के साथ गया, तो उन्होंने लालू प्रसाद यादव के खिलाफ मामला फिर से खोल दिया, जबकि उनकी आईआरसीटीसी घोटाले में कोई भूमिका नहीं थी.


नीतीश कुमार की विश्वसनीयता पर सवाल 
उल्लेखनीय है कि नीतीश कुमार भाजपा छोड़कर 2015 में राजद के साथ चुनाव लड़ने के बाद सरकार में शामिल हुए थे. इसके दो साल बाद ही उन्होंने राजद से नाता तोड़कर फिर भाजपा के साथ बिहार में सरकार बना ली, लेकिन 2022 में उन्होंने फिर से भाजपा का साथ छोड़कर राजद के साथ मिल गए. इस वजह से अक्सर लोग नीतीश की आलोचना करते हैं और उनके प्रति अविश्वास प्रकट करते हैं. कुछ लोग अभी भी सवाल उठाते हैं कि इस बात की क्या गारंटी है कि नीतीश कुमार आगे फिर कभी राजद छोड़ भाजपा के साथ नहीं जाएंगे?


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