दुनिया के इन 10 देशों की ईंटें लेकर खड़ी की गयी थी भारतीय संविधान की बुनियाद; देखें, किसने हमें क्या दिया?
Republic Day 2024: आजादी के बाद से वक्त-वक्त पर मौजूदा आवश्यकताओं के मुताबिक, संविधान में कई संशोधन भी किए गए. आइए, जानते हैं कि किन-किन देशों के संविधान से भारतीय संविधान में प्रवाधानों को शामिल किए गए हैं.
Republic Day 2024: भारत इस साल 26 जनवरी को अपना 75वां गणतंत्र दिवस मनाएगा. 74 साल पहले 26 जनवरी, 1950 को भारत ने अपना संविधान लागू किया था. इसलिए हर साल 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है. इंडिया का संविधान दुनिया का सबसे लंबा और लिखित संविधान है. इसमें दुनिया भर के कई देशों से अलग-अलग बेहतरीन कानूनी प्रावधान, व्यवस्थाएं, नियम और अधिकार शामिल किए गए हैं.
डॉ. भीमराव आंबेडकर इंडिया की संविधान सभा के चीफ थे. उनके अगुआई में संविधान सभा के सदस्यों ने मुख्तलिफ देशों के संविधान को पढ़ा और उनकी प्रमुख नियमों, सर्वश्रेष्ठ शासन व्यवस्थाओं और प्रावधानों को भारतीय संविधान में शामिल किया था. आजादी के बाद से वक्त-वक्त पर मौजूदा आवश्यकताओं के मुताबिक, संविधान में कई संशोधन भी किए गए. आइए, जानते हैं कि किन-किन देशों के संविधान से भारतीय संविधान में प्रवाधानों को शामिल किए गए हैं...
ब्रिटेन (Britain)
भारतीय संसदीय प्रणाली ब्रिटेन से प्रेरित है. इसके साथ ही संविधान में कानून निर्माण प्रक्रिया, विधि का शासन, मंत्रिमंडल प्रणाली, एकल नागिरकता, संविधान विशेषाधिकार, न्यायालय के विशेषाधिकार और द्वि-सदनवाद को ब्रिटेन के संविधान से लिया गया है. एकल नागिरकता के तहत भारतीय नागरिक किसी दूसरे मुल्क की नागरिकता नहीं ले सकता है.
जर्मनी (Germany)
इंडिया के संविधान में इमरजेंसी के वक्त के अधिकारों के संबंध में प्रावधान यूरोपीय मुल्क जर्मनी के संविधान से लिए गए हैं. इसमें इमरजेंसी के दौर्न राष्ट्रपति के पास मौलिक अधिकार के निलंबन संबंधित शक्तियां हैं. इमरजेंसी के वक्त मूलभूत अधिकारों में सरकार बदलाव कर सकती है. हालांकि, भारतीय संविधान में इमरजेंसी को तीन हिस्सों में बांटा गया है. इसमें आर्टिकल-352 के तहत राष्ट्रीय आपात हालात, आर्टिकल-356 के तहत राज्यों में संवैधानिक तंत्र की विफलता या राष्ट्रपित शासन की हालात और आर्टिकल-360 के तहत वित्तीय आपात हालात के प्रावधान हैं.
दक्षिण अफ्रीका (South Africa)
भारतीय संविधान में राज्यसभा में सदस्यों का निर्वाचन प्रणाली, संविधान संशोधन की प्रक्रिया, दक्षिण अफ्रिका के संविधान से लिए गए हैं. पार्लियामेंट की ऊपरी सदन यानी राज्यसभा का कार्यकाल 6 साल का होता है. राज्यसभा को कभी भी भंग नहीं किया जा सकता है. मुख्तलिफ राज्य विधानसभाओं से चुने गए MLA अपने प्रदेश से राज्यसभा सदस्यों के चुनाव के लिए मतदान करते हैं.
अमेरिका (USA)
भारतीय संविधान में न्यायपालिका की स्वतंत्रता, संविधान की सर्वोच्चता, निर्वाचित राष्ट्रपति और उस पर महाभियोग, उपराष्ट्रपति, सुप्रीम कोर्ट, हाईकोर्ट के जस्टिस को हटाने की विधि और आर्टिकल-360 के तहत वित्तीय इमरजेंसी, मौलिक अधिकार और न्यायिक पुनरावलोकन की व्यवस्था को दुनिया के सबसे पुराने लोकतांत्रिक मुल्क अमेरिका के संविधान से लिया गया है.
कनाडा (Canada)
भारतीय संविधान में केंद्र के जरिए राज्य के राज्यपाल की नियुक्ति और राष्ट्रपति का सुप्रीम कोर्ट से परामर्श करने की व्यवस्था, संघीय शासन व्यवस्था के प्रावधान और यूनियन ऑफ स्टेट्स शब्द की अवधारणा, कनाडा के संविधान से लिए गए हैं.
सोवियत संघ (Soviet Union)
भारतीय संविधान में मूल कर्तव्यों और प्रस्तावना में सामाजिक, मौलिक कर्तव्यों के प्रावधान, आर्थिक और राजनीतिक न्याय का आदर्श तत्कालीन सोवियत संघ यानी रूस के संविधान से लिए गए हैं. इमरजेंसी के दौरान भारतीय संविधान के भाग 4-A में 42वें संशोधन अधिनियम, 1976 के माध्यम से मौलिक कर्तव्यों को जोड़ा गया था.
फ्रांस (France)
भारतीय संविधान में प्रस्तावना में स्वतंत्रता, समता, बंधुता के आदर्श का सिद्धांत और गणतंत्रात्मक फ्रांस के संविधान से लिए गए हैं. इन तीनों प्रावधान को भारतीय संविधान का आत्मा कहा जाता है. इन तीनों प्रावधान के बिना किसी स्वतंत्रता की कल्पना नहीं जा सकती है.
आयरलैंड (Ireland)
भारतीय संविधान में राष्ट्रपति के निर्वाचक-मंडल की व्यवस्था, राष्ट्रपति के जरिए राज्य सभा में 12 सदस्यों का मनोनयन (साहित्य, कला, विज्ञान तथा सामाजिक सेवा आदि के क्षेत्र से सम्मानित व्यक्ति) जैसे प्रावधान और राज्य के नीति निर्देशक तत्व जैसे प्रावधान आयरलैंड के संविदान से लिए गए हैं.
ऑस्ट्रेलिया (Australia)
भारतीय संविधान की व्यापार-वाणिज्य और संसद के दोनों सदनों की संयुक्त बैठक, प्रस्तावना की भाषा, समवर्ती सूची का प्रावधान, केंद्र एवं राज्य के बीच संबंध तथा शक्तियों का विभाजन व्यवस्थाओं को ऑस्ट्रेलिया के संविधान से लिए गए हैं. भारतीय संविधान की प्रस्तावना में सिर्फ एक ही बार संशोधन हुआ है. 1976 में 42वें संविधान संशोधन अधिनियम के माध्यम से इसमें संशोधन कर 3 नए शब्द समाजवादी, धर्मनिरपेक्ष और अखंडता जोड़े गया था.
जापान (Japan)
भारतीय संविधान में विधि के जरिए स्थापित प्रक्रिया को जापान से लिया गया है. भारतीय संविधान विधि के जरिए स्थापित प्रक्रिया का समावेशन करके न्यायिक सर्वोच्चता के स्वस्थ समन्वय और संसदीय संप्रभुता को अपनाता है.