दाल-रोटी, भारत में यह खाना बेहद आम है, लगभग हर घर में ये कुछ-कुछ दिनों के फासले के बाद यह खाना बन ही जाता है लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि दाल रोटी कब से खाई जा रही है? अगर यह खयाल कभी आपके दिमाग में नहीं आया है तो फिर हम आपको बता रहे हैं कि दाल रोटी पिछले 70 हजार वर्षों से खाई जा रही है. शायद ये पढ़कर आप हैरान हो गए लेकिन यह हकीकत है, क्योंकि ईराक में इसके सबूत मिले हैं. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

ईराक की राजधानी बगदाद से तकरीबन 800 किलोमीटर की दूरी पर मौजूद एक गुफा में सबसे पुराना शाकाहारी खाना मिला है. दावा किया जा रहा है कि यह दाल रोटी है के अंश हैं जो जली हुई हालत में हैं. इसके अलावा यह भी कहा जा रहा है कि यह तकरीबन 40 से 70 हजार वर्ष पुराने हैं. गुफा में जली हुई हालत में मिले जले हुए खाने को लेकर दावा किया जा रहा है कि इसमें कई तरह की दालें, जंगली फलियां, सरसों और बीच शामिल हैं. वैज्ञानिकों ने इसको लेकर संभावना जाहिर की है कि जरूर इनसे दाल रोटी बनाई जा रही होती होगी.



जिस गुफा में यह खाना मिला है उसका नाम शनिदार (Shanidar Cave) है. जो बगदाद से उत्तर की तरफ 800 किलोमीटर दूसरी पर है. इस गुफा को लेकर माना जाता है कि यहां पर मानवों की आधुनिक बस्ती हुआ करती थी. गुफा यह खाना मिलने के बाद वैज्ञानिकों ने सैंपल को इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप के नीचे स्कैन किया. जिसके बाद सामने आने वाली जानकारी ने हैरान कर दिया. स्कैनिंग के बाद पता चला कि दाल, बीच, सरसों, फलियां वगैरह मौजूद थीं. 


इस रिपोर्ट के बारे में बताने वाले यूनिवर्सिटी ऑफ लिवरपूल में पोस्टडॉक्टोरल रिसर्च एसोसिएट केरेन काबुकू कहते हैं कि जांच के लिए भेजे गए नमूनों को देखने के बाद लगता है कि यह दाल काफी गाढ़ी रही होगी, क्योंकि यह टुकड़े बहुत घने थे. इसके अलावा उन्होंने यह भी बताया कि गुफा में मिलने वाली रोटियां बीजों को पीसकर बनाए गए आटे की बनी हुई थीं. उन्होंने यह भी बताया कि उस वक्त लोग बीजों, दालों के छिलकों को फेंकते नहीं थे, या यूं कहिए उस वक्त उन्हें इस बारे में जानकारी नहीं थी.


ZEE SALAAM LIVE TV