जयपुर: देश में कई बड़े बांधों-जलाशयों पर पाकिस्तान के हमले का खतरा मंडरा रहा है. पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों ने महत्वपूर्ण बांधों और जलाशयों के कम्प्यूटर डेटा चुरा लिए हैं.
इंटेलीजेंस ब्यूरो की रिपोर्ट के बाद केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय ने राज्यों को सुरक्षा के उपाय करने के लिए एडवाइजरी भी जारी की है.
देश के महत्वपूर्ण बांधों और जलाशयों पर भारी खतरा
पाकिस्तानी खुफिया एजेंसियों ने बांधों-जलाशयों में लगे कम्प्यूटर सिस्टम का डेटा चुरा लिया है. इस बात की जानकारी मिलने के बाद पिछले दिनों इंटेलीजेंस ब्यूरो ने इसकी सूचना गृहमंत्रालय और जलशक्ति मंत्रालय को दी है.
ब्यूरो के एडिशनल डायरेक्टर अमिताभ रंजन ने मंत्रालयों के अधिकारियों को पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने पत्र में बांधों को इस नए खतरे की ओर आगाह किया और एडवाइजरी जारी की.
भारत की अहम जानकारी पाकिस्तानी खुफिया एजेन्सी के पास
इंटेलीजेंस ब्यूरो के सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान की भारत विरोधी खुफिया एजेंसियों के पास जलस्रोतों की महत्वपूर्ण जानकारी है. जिसमें इन जलाशयों की आवक-बहिर्वाह क्षमता, अन्य सम्बंधित सूचनाओं के अपडेट आंकड़े एकत्रित किए गए हैं.
इन सूचनाओं का संग्रह बांधों और जलाशयों की सुरक्षा के लिए चिंता जनक है. पाकिस्तानी हैकर बांधों को नियंत्रित करने वाले कंप्यूटर सिस्टम की सुरक्षा को क्षतिग्रस्त कर सकते हैं, जिससे बांधों को खतरा हो सकता है.
भुवनेश्वर में सीडब्ल्यूसी की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में भी बांधों की सुरक्षा का मुद्दा उठ चुका है. इंटेलीजेंस ब्यूरो ने बांधों के कम्प्यूटर सिस्टम की सुरक्षा मजबूत करने के निर्देश दिए हैं.
जल शक्ति मंत्रालय ने जताई है चिंता
इंटेलीजेंस ब्यूरो का इनपुट मिलने के बाद पिछले दिनों जल शक्ति मंत्रालय के बांध सुरक्षा मॉनिटरिंग निदेशालय के निदेशक राजीव सिंहल ने सभी राज्यों और सम्बंधित अधिकारियों को पत्र लिखकर इसकी जानकारी दी है. साथ ही बांधों के कम्प्यूटर सुरक्षा सिस्टम को मजबूत करने के निर्देश दिए.
राज्य सरकार को बांधों की समीक्षा करने तथा संवेदनशील उपकरणों और बांधों की भौतिक सुरक्षा और संबंधित डेटा संचालन को संभालने वाली कंप्यूटर प्रणाली को मजबूत करने के निर्देश दिए गए हैं.
इधर पिछले हफ्ते राजस्थान में जल संसाधन विभाग के सचिव नवीन महाजन ने गृह सचिव को पत्र लिखकर बांधों की उचित सुरक्षा बंधोबस्त करने का आग्रह किया. इसके बाद हाल ही गृह विभाग ने एडीजी इंटेलीजेंस को सुरक्षा के लिए लिखा.
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