IPL 2023: जानें कहां पर कमजोर नजर आ रहा है दिल्ली कैपिटल्स का खेमा, मुश्किल है खिताबी सूखा खत्म होना

Delhi Capitals, IPL 2023: ऋषभ पंत की अनुपस्थिति से दिल्ली कैपिटल्स की आगामी इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में संभावनाओं को करारा झटका लगा है और इसके साथ ही उसकी टीम में मौजूद भारतीय तेज गेंदबाजों में मारक क्षमता का अभाव भी उसके लिए चिंता का विषय है.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Mar 26, 2023, 10:34 AM IST
  • पंत के अलावा दिल्ली के लिये सिरदर्द बनी ये कमजोरी
  • जानें क्या है दिल्ली कैपिटल्स की मजबूती
IPL 2023: जानें कहां पर कमजोर नजर आ रहा है दिल्ली कैपिटल्स का खेमा, मुश्किल है खिताबी सूखा खत्म होना

IPL 2023: इंडियन प्रीमियर लीग के 15 सीजन समाप्त हो चुके हैं और आईपीएल के इतिहास में जिन टीमों को अब तक अपने पहले खिताब का इंतजार है उसमें एक नाम दिल्ली कैपिटल्स की टीम का भी है. दिल्ली कैपिटल्स की टीम ने पिछले 4 सीजन में अच्छा प्रदर्शन जरूर किया है लेकिन उसके बावजूद खिताब का सूखा मिटा पाने में नाकाम रही है. 16वें सीजन में उसके लिये एक बार फिर से यह कारनामा कर पाना मुश्किल नजर आ रहा है क्योंकि उसके नियमित कप्तान ऋषभ पंत दुर्घटनाग्रस्त होने की वजह से मैदान से दूर चल रहे हैं.

पंत के अलावा दिल्ली के लिये सिरदर्द बनी ये कमजोरी

ऐसे में टीम की कमान डेविड वॉर्नर के हाथों में होगी, जिन्होंने सीजन से पहले अतिरिक्त जिम्मेदारी संभालने की बात कही है. हालांकि दिल्ली कैपिटल्स के लिये सिर्फ ऋषभ पंत का न होना ही बड़ी समस्या नहीं है बल्कि उसके लिये एक और दिक्कत है जो कि 16वें सीजन में खिताब का सूखा मिटाने में सिरदर्द साबित हो सकती है. दिल्ली कैपिटल्स की टीम के गेंदबाजी विभाग में भारतीय पेसर्स की कमी उसके लिये बड़ी टेंशन बनी हुई है और ऐसे में उसके लिये खिताब का सूखा मिटा पाना काफी मुश्किल होने वाला है.

लखनऊ के  खिलाफ कैंपेन का आगाज करेगी दिल्ली

रिकी पोंटिंग की कोचिंग वाली दिल्ली की टीम एक अप्रैल को लखनऊ सुपरजाएंट्स के खिलाफ अपने अभियान की शुरुआत करेगी. मिशेल मार्श और कुलदीप यादव की शानदार फॉर्म से दिल्ली का मनोबल बढ़ा होगा लेकिन पंत की जगह पर वह किसी अदद भारतीय खिलाड़ी का चयन नहीं कर पाया जो निश्चित तौर पर उसके टीम प्रबंधन के लिए चिंता का विषय है.

दिल्ली पर उल्टा पड़ सकता है इंपैक्ट प्लेयर का नियम

दिल्ली के लिए ‘ इंपैक्ट प्लेयर’ का नियम उल्टा साबित हो सकता है क्योंकि उसके अनुभवी खिलाड़ियों में कोई भी ऐसा खिलाड़ी नहीं है जो तुरुप का इक्का साबित हो सके. सच्चाई तो यह है कि दिल्ली की टीम अपने विदेशी खिलाड़ियों पर अधिक निर्भर रहेगी. दिल्ली कैपिटल्स की टीम का विश्लेषण इस प्रकार है.

जानें क्या है दिल्ली कैपिटल्स की मजबूती

दिल्ली कैपिटल्स की टीम में तीन ऐसे विदेशी खिलाड़ी हैं जो अपने दम पर मैच का पासा पलट सकते हैं. इनमें मिशेल मार्श पावर प्ले में अपनी आक्रामक बल्लेबाजी से दिल्ली को शानदार शुरुआत दे सकते हैं. अगर वह एक या दो ओवर भी कर लेते हैं तो यह दिल्ली के लिए सोने पर सुहागा होगा. डेविड वॉर्नर ने जब से आईपीएल में खेलना शुरू किया तब से शायद ही कोई ऐसा सत्र रहा होगा जबकि उनका प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा हो. इस बीच केवल वह तब असफल रहे जब उनका सनराइजर्स हैदराबाद के प्रबंधन के साथ मनमुटाव चल रहा था.

एनरिक नॉर्खिया दुनिया के सबसे खतरनाक तेज गेंदबाजों में से एक है. वह 150 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से गेंदबाजी कर सकते हैं. वह अधिकतर दिन खतरनाक साबित हो सकते हैं लेकिन छोटे मैदानों पर बल्लेबाज उनकी तेजी का सही उपयोग भी कर सकते हैं.

पंत की भरपाई करना नामुमकिन

ऋषभ पंत की भरपाई नहीं की जा सकती और मुख्य कोच पोंटिंग इस बात को पहले ही स्वीकार कर चुके हैं. पंत की अनुपस्थिति में टीम के पास दूसरा भारतीय विकेटकीपर नहीं है. नीलामी के समय इस बात पर ध्यान नहीं दिया गया. दिल्ली के पास फिल सॉल्ट के रूप में उपयोगी टी20 क्रिकेटर है जिन्हें उपमहाद्वीप में खेलने का थोड़ा अनुभव है. लेकिन विदेशी विकेटकीपर को रखने का मतलब होगा कि दिल्ली फील्डिंग करते समय अपनी एकादश में विदेश के विशेषज्ञ गेंदबाज को नहीं रख सकता. इसलिए यह जरूरी है कि बरिंदर विवेक सिंह या लवनिथ सिसोदिया जैसे विकेटकीपर ट्रॉयल्स में अच्छा प्रदर्शन करें जिससे कि दिल्ली को मुस्तफिजुर रहमान जैसे विदेशी गेंदबाज को अंतिम एकादश ने रखने का मौका मिलेगा जो डेथ ओवरों के उपयोगी गेंदबाज हैं.

शॉ के लिये उपयोगिता साबित करने का बेहतरीन अवसर

पृथ्वी शॉ के लिए यह सीजन कड़ी परीक्षा होगा क्योंकि उन्हें खुद को लेकर बनी सभी नेगेटिव इमेज को खत्म करना होगा जो उनके साथ अंडर-19 टीम के दिनों से बनी हुई है. उनके साथ ही करियर की शुरुआत करने वाले शुभमन गिल सीनियर टीम के स्टार खिलाड़ी बन चुके हैं और ऐसे में पृथ्वी इस मौके का पूरा फायदा उठाना चाहेंगे.

दिल्ली के लिये सबसे खतरनाक साबित होगी ये कमजोरी

दिल्ली के तेज गेंदबाजी विभाग में भारत के अच्छे खिलाड़ियों की कमी है. आवेश खान लखनऊ से जुड़ गए हैं जबकि शार्दुल ठाकुर को उसने कोलकाता नाइट राइडर्स को दे दिया है. ऐसे में दिल्ली तेज गेंदबाजी विभाग में नॉर्खिया और मुस्तफिजुर पर निर्भर रहेगी. खलील अहमद पीठ के ऑपरेशन के बाद वापसी कर रहे हैं जबकि इशांत शर्मा अब पहले जैसे धारदार गेंदबाज नहीं रहे.

इसके अलावा इंपैक्ट प्लेयर का नियम है जिसका प्रत्येक टीम अलग तरह से उपयोग करेगी लेकिन दिल्ली के पास ऐसे खिलाड़ियों की कमी है जो कि उसके लिए इस नियम का सही उपयोग करके तुरुप का इक्का साबित हो सकें. ऐसे में यह नियम दिल्ली पर विपरीत प्रभाव भी डाल सकता है. 

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