Hariyali Amavasya: अमावस्या पर इन पौधों को लगाना आखिर क्यों माना जाता है अशुभ, खाली कर देते हैं खजाना
Hariyali Amavasya Importance: हरियाली अमावस्या को सावन अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है. सावन महीने मानसून की शुरुआत का महीना है. इस मौसम में धरती पर हरियाली की चादर बिछ जाती है, इसी वजह से ये त्योहार काफी खास होता है. आइए जानते हरियाली अमावस्या के बारे में कुछ खास बातें.
Hariyali Amavasya 2023: सावन महीने की हरियाली अमावस्या पेड़ लगाने के लिए और पितरों के श्राद्ध के लिए विशेष मानी जाती है. सानव के महीन की कृष्ण पक्ष की अमावस्या को हरियाली अमावस्या कहा जाता है. इस साल हरियाली अमावस्या 17 जुलाई यानी कि सोमवार को मनाई जाएगी. देश के कई हिस्सों में इस दिन को पर्यावरण संरक्षण दिवस के रूप में भी मनाया जाता है.
कृषि का काम करने वालों के लिए भी ये दिन बहुत महत्वपूर्ण है और इस दिन विशेष रूप से वृक्षारोपण भी किया जाता है. लेकिन, शायद आपको नहीं मालूम होगा कि इस अवसर ऐसे भी कुछ पेड़ होते हैं जिन्हें लगाना काफी अशुभ माना जाता है. आइए जानते हैं हरियाली अमावस्या के दिन कौन से पेड़ नहीं लगाने चाहिए.
हरियाली अमावस्या पर न लगाएं ये पेड़
- हरियाली अमावस्या के दिन पाकड़, गूलर, बहेड़ा, पीपल, बेर, निर्गुंडी, इमली, कदम्ब और खजूर के अलावा कांटेदार, दूधिया और फलदार पेड़ लगाना अशुभ माना जाता है. इसके साथ ही हरियाली अमावस्या पर घर में केला, अनार, पीपल और नींबू ये पौधे लगाने से भी बचना चाहिए.
- वहीं इस दिन आप नीम, अशोक, पुन्नाग, शिरीष, बेल, अंकारा तथा तुलसी का पौधा लगा सकते हैं. हरियाली अमावस्या के दिन ये पेड़ लगाना शुभ माना जाता है.
हरियाली अमावस्या के दिन पेड़ क्यों लगाएं जाते हैं?
हरियाली अमावस्या के दिन पेड़ लगाना बहुत शुभ माना जाता है. पेड़-पैधों का हमारे जीवन में बहुत महत्व हैं. इसके साथ ही शास्त्रों में कहा जाता है कि पेड़-पौधों में देवी-देवताओं का वास होता है, जैसे पीपल के पेड़ में त्रिदेव- ब्रह्मा, विष्णु और महेश का वास माना जाता है. इसके साथ-साथ अन्य देवताओं का वास भी माना जाता है.
इसी तरह केले और आंवले के पेड़ में भी भगवान विष्णु का वास माना जाता है. ऐसे में विशेष पौधे लगाने और उनकी पूजा करने से जीवन में खुशहाली आती है और सभी देवी-देवताओं का आशीर्वाद प्राप्त होता है.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)