How to please Lord Vishnu: सनातन धर्म में पीतल को शुभ धातु माना गया है. यही वजह है कि पूजा-पाठ समेत सभी धार्मिक कार्यों में पीतल के बर्तनों का इस्तेमाल किया जाता है. विद्वानों के अनुसार केवल धार्मिक ही नहीं, बल्कि वैज्ञानिक दृष्टि से भी पीतल के बर्तनों के कई लाभ हैं. कहते हैं कि पीतल के बर्तनों से जुड़े कुछ विशेष उपाय करने से इंसान की किस्मत चमक जाती है. आज हम आपको ऐसे ही 4 विशेष उपायों के बारे में अवगत करवाने जा रहे हैं. 


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पीतल के बर्तनों के उपाय (Peetal ke Upay)


कुंडली में सूर्य को करें मजबूत 


ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक सुबह उठकर स्नान के पश्चात तांबे के लोटे (Peetal ke Upay) में जल भरकर उसमें अक्षत और रोली मिला लेना चाहिए. इसके बाद उगते सूर्य को नियमित रूप से जल अर्पित करना चाहिए. कहते हैं कि ऐसा करने से कुंडली में सूर्य (How to please Sun God) की स्थिति मजबूत होती और अशुभ प्रभाव खत्म होते हैं. ऐसा करने से करियर में तरक्की मिलती है. 


गुरुवार के दिन करें ये काम


ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक गुरुवार का दिन भगवान विष्णु की आराधना वाला माना जाता है. वे समूचे संसार का संचालन करते हैं. उन्हें प्रसन्न करने के लिए गुरुवार को कलश (Peetal ke Upay) या पीतल के लोटे में चने की दाल भरकर भगवान विष्णु के मंदिर में जरूरतमंद को दान कर देना चाहिए. इस उपाय से भगवान विष्णु (How to please Lord Vishnu) प्रसन्न होकर जातक को अपना आशीर्वाद देते हैं. 


धन-समृद्धि की प्राप्ति के लिए


मां लक्ष्मी की कृपा हासिल करने के लिए शुक्रवार को पीतल (Peetal ke Upay) के दीये में देसी घी का दीपक जलाना चाहिए. कहते हैं कि इस उपाय से मां लक्ष्मी (How to please Maa Lakshmi ) बेहद प्रसन्न होती हैं और उस घर में कभी धन-दौलत की कमी नहीं रहती. उस परिवार के लोग निरोगी जीवन का आनंद लेते हैं और कारोबार में बढ़ोतरी होती है. 


बीमारी दूर करने का उपाय


अगर आप बीमारियों या मानसिक तनाव से जूझ रहे हैं तो सोने से पहले रोजाना पीतल के लोटे (Peetal ke Upay) में पानी भरकर सिरहाने रख लें. इसके बाद सुबह उठने के बाद उस जल को किसी पौधे या पेड़ की जल में अर्पित कर दें. मान्यता है कि यह उपाय करने से बीमारियां धीरे-धीरे ठीक होने लगती है और तनाव भी दूर हो जाता है.  


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)