Car AC Facts: बहुत से लोग कार खरीद तो लेते हैं लेकिन उन्हें कारों के बारे में बहुत ज्यादा जानकारी नहीं होती है. ऐसे में कई बार वह गलत जानकारियों का शिकार हो जाते हैं. उदाहरण के तौर पर बताएं तो बहुत से लोगों को लगता है कि अगर वह अपनी कार के एसी फैन (ब्लोअर फैन) को कम स्पीड पर चलाएंगे तो माइलेज ज्यादा मिलेगा जबकि अगर उसकी स्पीड बढ़ा देंगे तो कार का माइलेज ड्रॉप हो जाएगा यानी कम हो जाएगा. हो सकता है कि आपसे भी किसी ने कभी ना कभी ऐसी बात कही हो लेकिन क्या यह बात सच है? नहीं. चलिए, आपको इसके बारे में बताता है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

यह बात सच है कि कार का एसी ऑन करने के बाद माइलेज पर फर्क (घटता) पड़ता है क्योंकि एसी कंप्रेसर (AC Compressor) इंजन से ही चलता है. इसके लिए इंजन को ज्यादा पावर जनरेट करनी पड़ती है. ऐसे में फ्यूल कंजम्पशन (खपत) बढ़ जाती है और माइलेज घट जाता है. अब AC कंप्रेसर पर जितना ज्यादा दबाव होगा, उसे चलाने के लिए उतनी ज्यादा एनर्जी की जरूरत पड़ेगी, जिसके लिए इंजन ज्यादा फ्यूल बर्न करेगा. 


लेकिन, केबिन के अंदर बैठकर जब आप ब्लोअर फैन की स्पीड को कम या ज्यादा करते हैं, तब उससे माइलेज पर कोई फर्क नहीं पड़ता क्योंकि असल में वहां से आप सिर्फ ब्लोअर की स्पीड को घटा या बढ़ा रहे होते हैं, जिसे चलाने के लिए बैटरी से एनर्जी मिलती है. इसका मतलब है कि आप चाहे ब्लोअर को 1, 2, 3 या 4 स्पीड लेवल पर रखें, उससे माइलेज पर फर्क नहीं पड़ेगा.


कार के माइलेज पर एसी के सेट किए हुए टेंपरेचर से फर्क पड़ता है. मान लीजिए, आप एसी को उसके सबसे निचले टेंपरेचर (जिससे कि वह सबसे ज्यादा ठंडा करे) पर सेट करके रखते हैं तो कंप्रेसर पावर कंज्यूम करेगा, जिससे इंजन पर दबाव बढ़ेगा और फ्यूल ज्यादा खर्च होगा. वहीं, अगर एसी टेंपरेचर को बढ़ा देंगे तो कंप्रेसर पर दबाव कम होगा और फिर इंजन पर भी दबाव कम जाएगा, तो फ्यूल भी कम खर्च होगा.


यह भी पढ़ें-
ये 10 शानदार फीचर्स चाहिए तो भूलकर भी ना लें Citroen C3 Aircross! वरना बहुत पछताओगे
ये SUV लॉन्च हुई तो Toyota Fortuner को खा जाएगी! मिलेंगे गजब-गजब के फीचर्स