नई दिल्ली : रेलवे और केंद्रीय कर्मी सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों में विसंगतियों व पुरानी पेंशन स्कीम की मांग को ले कर दिसम्बर में संसद सत्र के दौरान देश भर में केंद्र सरकार को घेरने की तैयारी कर रहे हैं. दिसम्बर में एक तरफ जहां बड़े आंदोलन की तैयारी की जा रही है वहीं रेल कर्मियो का संगठन देश भर में रेलगाड़ियों को रोक कर प्रदर्शन करने पर भी विचार कर रहा है.


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दिसम्बर में संसद सत्र के दौरान सरकार को घेरेंगे केंद्रीय कर्मी
केंद्रीय कर्मियों के संयुक्त संगठन नेशनल ज्वाइंट काउंसिल ऑफ एक्शन (NJCA) के संयोजक शिव गोपाल मिश्रा ने बताया कि केंद्रीय कर्मी सातवें वेतन आयोग के तहत न्यूनतम वेतन को कम से कम 26000 किए जाने और पुरानी पेंशन योजना को ले कर लम्बे समय से आंदोलन कर रहे हैं. पर सरकार ने अब तक कोई सकारात्मक रुख नहीं दिखाया है. ऐसे में दिसम्बर में संसद सत्र के दौरान एक देशव्यापी आंदोलन करने की योजना पर काम किया जा रहा है. यदि इसके बाद भी सरकार कर्मचारियों की मांगों पर ध्यान नहीं देती है तो देश भर में रेल कर्मी हड़ताल करने पर विचार करेंगे.


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छोटे प्रदर्शनों के जरिए सरकार पर बनाया जाएगा दबाव
केंद्रीय कर्मी दिसम्बर के पहले कई छोटे - छोटे प्रदर्शनों का आयोजन कर अपनी मांगों को ले कर केंद्र सरकार पर दबाव बनाने का प्रयास करेंगे. वहीं अगले दो महीनों में कई राज्यों में चुनाव हैं. ऐसे में केंद्रीय कर्मी राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव व लोकसभा चुनाव के करीब आने पर सरकार पर और दबाव बढ़ाएंगे. केंद्रीय कर्मी की मांगों कें सबसे महत्वपूर्ण मांगें न्यूनतम वेतन को 16000 से बढ़ा कर 26000 किए जाने, फिटमेंट फार्मुले को बदले जाने व पुरानी पेंशन स्कीम को जल्द से जल्द लागू किया जाना है.