Foreign Exchange Reserves: देश का विदेशी मुद्रा भंडार पांच मई को समाप्त सप्ताह में 7.196 अरब डॉलर उछलकर 595.976 अरब डॉलर हो गया. भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने शुक्रवार को यह जानकारी दी है. इससे पिछले सप्ताह, देश का कुल विदेशी मुद्रा भंडार 4.532 अरब डॉलर घटकर 588.78 अरब डॉलर रहा था. उल्लेखनीय है कि अक्टूबर 2021 में, देश का विदेशी मुद्रा भंडार 645 अरब डॉलर के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गया था. वैश्विक घटनाओं के कारण उत्पन्न दबावों के बीच केंद्रीय बैंक के रुपये के बचाव के लिए मुद्राभंडार के उपयोग से इसमें गिरावट आई.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

RBI ने जारी किए आंकड़े
रिजर्व बैंक के साप्ताहिक आंकड़ों के मुताबिक, 5 मई को समाप्त सप्ताह में मुद्राभंडार का अहम हिस्सा, विदेशीमुद्रा आस्तियां 6.536 अरब डॉलर बढ़कर 526.021 अरब डॉलर हो गयी. डॉलर में अभिव्यक्त किये की जाने वाली विदेशी मुद्रा आस्तियों में यूरो, पाउंड और येन जैसे गैर-अमेरिकी मुद्राओं में आई घट-बढ़ के प्रभावों को भी शामिल किया जाता है.


गोल्ड रिजर्व कितना बढ़ा?
रिजर्व बैंक ने कहा कि गोल्ड रिजर्व का मूल्य आलोच्य सप्ताह में 65.9 करोड़ डॉलर बढ़कर 46.315 अरब डॉलर हो गया. आंकड़ों के मुताबिक, विशेष आहरण अधिकार (SDR) 1.9 करोड़ डॉलर घटकर 18.447 अरब डॉलर रह गया. समीक्षाधीन सप्ताह में अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) में रखा देश का मुद्रा भंडार दो करोड़ डॉलर बढ़कर 5.192 अरब डॉलर हो गया.


क्या होता है विदेशी मुद्रा भंडार?
विदेशी मुद्रा भंडार में बैंक नोट, जमा, बॉन्ड, सोना आदि शामिल होते हैं. इन परिसंपत्तियों को रखने के पीछे कई उद्देश्य होते हैं. किसी देश की राष्ट्रीय मुद्रा में तेजी से गिरावट या पूरी तरह से दिवालिया हो जानें की स्थिति में केंद्रीय बैंक के पास रखा बैकअप फंड काम आता है. इसका देश की अर्थव्यवस्था में काफी योगदान होता है.