Home Loan EMI Calculator: हर किसी की एक ख़्वाहिश होती है कि उसका अपना घर हो जिसे अपने प्यार और खुशियों से सजाए. लेकिन बढ़ती महंगाई और बढ़ते खर्च के कारण घर खरीदना दूभर होता जा रहा है. वहीं, लंबे समय तक ईएमआई के बोझ के डर से लोग होम लोन करवाने से बचते हैं. लेकिन आज हम आपको एक ऐसा उपाय बताएंगे जिसकी मदद से आप ईएमआई के बोझ को कम कर सकते हैं.


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सस्ते दर पर लोन लें


लोन लेते वक्त इसका ध्यान रखें कि लोन ट्रांसफर रेपो रेट से 2 प्रतिशत ही अधिक पर हो, इससे आसानी से लोन चुकाने में मदद मिलती है. क्योंकि स्प्रेड कम होने से ब्याज दर कम होगी. रेपो रेट व लोन रेट का अंतर स्प्रेड रेट कहलाता है. जैसे माना कि आपने होम लोन 9.5 प्रतिशत लिया है वर्तमान में रेपो रेड 6.5 प्रतिशत है. इस तरह आपको स्प्रेड रेड 3 प्रतिशत हो गया जबकि बाजार में औसत स्प्रेड दर 3 प्रतिशत है. अगर आप औसत स्प्रेड दर के आसपास लोन करवाते हैं तो लोन सस्ते हो जाएंगे.


अगर बाजार रेट और आपके लोन रेट में स्प्रेड दर का अंतर 0.5 प्रतिशत से ज्यादा का अंतर है और आपका लोन आधे से ज्यादा बाकी है या अक्टूर से पहले लोन लिया है तो इसके रिफाइनेंस को लेकर बैंक से बात कर सकते हैं.


प्री पेमेंट का विकल्प चुने


ईएमआई के बोझ से बचने के लिए प्री-पेमेंट यानी समय से पहले भुगतान का विकल्प भी चुन सकते हैं. सालाना 10 प्रतिशत ईएमआई बढ़ाकर आप 65 प्रतिशत तक ब्याज बचा सकते हैं. इसके लिए यह भी जरूरी नहीं है कि आप एक बार में ही भुगतान करें. आप अपनी सैलरी के हिसाब से ईएमआई बढ़ा दीजिए. इस तरह आपके लोन की अवधि कम हो जाती है और ब्याज भी कम लगता है. 


जैसे अगर आप 8.5 प्रतिशत ब्याज दर पर 20 साल के लिए लोन लेते हैं और सालाना ईएमआई 10 प्रतिशत बढ़ाते हैं तो यह लोन सिर्फ 79 महीने यानी 7 साल से भी कम समय में खत्म हो जाएगा. अगर 20 साल में माना कि आपको 100 रुपया ब्याज लग रहा था तो यह भी घट कर 35 हो जाएगा.


एक्स्ट्रा ईएमआई का विकल्प


अगर लोन 20 साल के लिए है तो आप साल में एक बार एकस्ट्रा ईएमआई भुगतान करके भी लोन की अवधि को 4 साल के लिए घटा सकते हैं. हालांकि, इसमें ध्यान रखने वाली बात यह है कि कुछ बैंक दो या तीन ईएमआई के बराबर न्यूनतम प्री पेमेंट ही भुगतान करने का विकल्प देते हैं.